महाराष्ट्र

ओबीसी आरक्षण के बिना चुनाव न लिये जाये

डेप्यूटी सीएम अजीत पवार व मंत्री छगन भुजबल ने दी प्रतिक्रिया

मुंबई/दि.9– विगत दिनों सुप्रीम कोर्ट द्वारा महाराष्ट्र सरकार की ओर से ओबीसी आरक्षण को लेकर जारी अध्यादेश पर स्थगिती दिये जाने के बाद राज्य निर्वाचन आयोग द्वारा ओबीसी आरक्षित सीटों के अलावा स्थानीय निकायों की अन्य सीटों पर चुनाव करवाये जाने का निर्णय लिया गया है. जिसे लेकर राज्य की राजनीति गरमा गई है. इस संदर्भ में राज्य के उपमुख्यमंत्री अजीत पवार तथा अन्न व नागरी आपूर्ति मंत्री छगन भुजबल सहित कई नेताओं ने ओबीसी आरक्षण का मसला निपटने तक स्थानीय स्वायत्त निकायों के चुनावों को स्थगित रखने की प्रतिक्रिया दी है.
उपमुख्यमंत्री अजीत पवार ने कहा कि, इस विषय को लेकर राज्य में विपक्षी दल भाजपा द्वारा गलतफहमी फैलाने का काम किया जा रहा है, जबकि सुप्रीम कोर्ट ने राज्य सरकार की ओर से जारी किये गये संशोधित अध्यादेश को खारिज नहीं किया है, बल्कि अगली सुनवाई तक उसे स्थगिती दी है. ऐसे में सरकार द्वारा कोर्ट के समक्ष अपना पक्ष पुख्ता तरीके से रखा जायेगा. वहीं मंत्री छगन भुजबल ने भी ओबीसी आरक्षण का मसला हल होने तक सभी चुनावों को स्थगित किये जाने की मांग करते हुए कहा कि, ओबीसी आरक्षण को लेकर सुप्रीम कोर्ट द्वारा देश के अन्य राज्यों व महाराष्ट्र को लेकर अलग-अलग मापदंड क्यों लगाये गये, यह समझ से परे है. ऐसे में महात्मा फुले समता परिषद द्वारा कोर्ट के निर्णय को चुनौती देते हुए याचिका दायर की जायेगी.

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