फडणवीस को सत्ता दीजिए, मैं मराठा आरक्षण दिलाने की जिम्मेदारी लेता हूं
महाविकास आघाडी सरकार पर भाजपा सांसद भोसले का तीखा प्रहार
मुंबई/दि.30 – भाजपा सांसद छत्रपति उदयनराजे भोसले ने मराठा आरक्षण को लेकर प्रदेश की महाविकास आघाडी सरकार और राकांपा अध्यक्ष पवार दर हमला बोला है. भोसले ने कहा कि, राज्य सरकार मराठा आरक्षण पर समाधान नहीं निकाल पा रही है तो विधानसभा में विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस के हाथों में दोबारा सत्ता दीजिए. मैं मराठा समाज को आरक्षण दिलाने की जिम्मेदारी लेता हूं.
रविवार को सातारा में पत्रकारों से बातचीत में भोसले ने कहा कि, फडणवीस गैर मराठा होते हुए भी उन्होंने मुख्यमंत्री रहते मराठा समाज को आरक्षण देने का फैसला किया. लेकिन सत्ता परिवर्तन के बाद राज्य की नई सरकार मराठा आरक्षण को टिकाए नहीं रख सकी. भोसले ने सरकार को मराठा आरक्षण देना है तो हां कहे नहीं तो लोग सत्ताधारियों को घर से बाहर नहीं निकलने देंगे. फिलहाल कोरोना संकट है इसलिए लोग चुप बैठे हैं. सत्ताधारी ध्यान रखें कि यह महाराष्ट्र है. महाराष्ट्र में मराठा समाज निर्णायक जाति है. भोसले ने कहा कि, महाराष्ट्र लोक सेवा आयोग (एमपीएससी) परीक्षाएं मराठा कोटे की सीटों को छोडकर ली जानी चाहिए. भोसले ने कहा कि, सुप्रीम कोर्ट में मराठा आरक्षण मामले की सुनवाई के दौरान सरकारी वकील मौजूद नहीं रहते हैं. सरकार की ओर से वकीलों को गायब कर दिया जाता है. भोसले ने कहा कि, मराठा समाज के सांसद और विधायक आरक्षण के लिए लडाई लडे. इसके अलावा दूसरे समाज के भी सांसद और विधायक अपनी नैतिक जिम्मेदारी निभाएं.
‘पवार को मराठा स्ट्रांग मैन कहना कितना उचित’
भोसले ने मराठा आरक्षण को लंबे समय तक जानबुझकर लटकाने का आरोप लगाया. उनका इशारा राकांपा मुखिया पवार की ओर था. उन्होंने नाम लिए बिना कहा कि, मराठा स्ट्रांग मैन उपमा उनपर कितनी लागू होती है. भोसले ने कहा कि, मराठा आरक्षण का मुद्दा इतने वर्षों से प्रलंबित क्यों हैं? इसका जवाब कई वर्षों तक शासन करने वाले लोगों को देना पडेगा. उन्होंने कहा कि, मैं नाम लेकर किसी को बडा नहीं करना चाहता. क्योंकि इसके लिए सभी दोषी हैं. भोसले ने कहा कि मंडल आयोग की सिफारिशें लागू होते समय भी मराठा समाज की अनदेखी की गई. उस समय तत्कालीन मुख्यमंत्री पवार ने मराठा समाज को आरक्षणके लिए केंद्र सरकार को सूची नहीं भेजी. भोसले ने कहा कि, मराठा आरक्षण के मुद्दे का समाधान पवार को करना चाहिए क्योंकि अब भी वही सत्ता में है.
मुझे नहीं मालूम, सरकार गिरेगी या नहीं : पाटील
प्रदेश भाजपा अध्यक्ष चंद्रकांत पाटील ने कहा कि, मुझे नहीं मालूम कि प्रदेश की महाविकास आघाडी गिरगी या नहीं. रविवार को पुणे में पत्रकारों से बातचीत में पाटील ने कहा कि, मैंने और विधानसभा में विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस ने राज्य सरकार के गिरने का दावा कभी नहीं किया है. हमने केवल इतना ही कहा था कि, तीन दलों में संवादहीनता के कारण सरकार गिरेगी. लेकिन साल भर में सरकार नहीं गिरी. अब मुझे नहीं मालूम कि आगे सरकार गिरेगी या नहीं. पाटील ने कहा कि, सत्ताधारियों को बार-बार यह क्यों कहना पड रहा है कि, सरकार नहीं करेगी. तीनों दल मिलकर सरकार चलाकर दिखाएं. इससे पहले केंद्रीय राज्य मंत्री रावसाहब दानवे ने दावा किया था कि अगले दो महीने में प्रदेश में भाजपा की सरकार बनेगी.
अधिवेशन का सामना करने की हिम्मत दिखाए सरकार
पाटील ने कहा कि, सरकार में 7 दिसंबर से शुरु होने वाले महाराष्ट्र विधानमंडल के शीतकालीन अधिवेशन का सामना करने की हिम्मत नहीं है. इसलिए सरकार शीतकालीन सत्र को स्थगित करने का फैसला करेगी. पाटील ने कहा कि, सरकार को अधिवेशन का सामना करने की हिम्मत दिखानी चाहिए. हम सदन में कोरोनाकाल में हुए भ्रष्टाचार को उजागर करेंगे. पाटील ने कहा कि, सरकार साल भर के अपने कार्यकाल में पूरी तरह से विफल रही है. हमने सरकार के खिलाफ काफी आंदोलन किया है. यह आंदोलन आगे भी जारी रहेगा. पाटील ने कहा कि, हम मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की धमकी से नहीं डरती हैं. मुख्यमंत्री को जो कार्रवाई करनी हैं वो करें.
फडणवीस सुप्रीम कोर्ट को भी प्रभावित कर सकते हैं : कांग्रेस
छत्रपति भोसले के मराठा आरक्षण के लिए फडणवीस के हाथों सत्ता देने वाले बयान पर कांग्रेस ने निशाना साधा है. प्रदेश कांग्रेस प्रवत्ता सचिन सावंत ने कहा कि, भोसले का बयान चौंकाने वाला और आपत्ति जनक है. मराठा आरक्षण का मामला सुप्रीम कोर्ट में है. फिर भी भोसले को लग रहा है कि, फडणवीस सुप्रीम कोर्ट को भी प्रभावित कर सकते है? उनका यह विश्वास चौंकाने वाला है. सावंत ने कहा कि, पिछले छह साल से मोदी है कि, मुमकीन है कि भावना से संवैधानिक संस्थाओं पर दबाव डाला जा रहा है. इससे भाजपा नेताओं में आया विश्वास लोकतंत्र के लिए चिंता बढाने वाला है.