उद्धव, पवार, फडणवीस को लिखा पत्र, कहा- नाणार परियोजना हाथ से जाने से नुकसान
कोंकण में ग्रीन रिफाइनरी परियोजना चाहते हैं राज
मुंबइ /दि.८ – महाराष्ट्र नवनिर्माण सेना (मनसे) के प्रमुख राज ठाकरे ने रविवार को यहां कहा कि, कोंकण में प्रस्तावित रत्नागिरी-राजापुर रिफाइनरी परियोजना का हाथ से जाना कोंकण के लिए नुकसानदेह साबित होगा. इस परियोजना के समर्थन में उन्होंने मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे, राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख शरद पवार व विधानसभा में विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस को पत्र लिखा है.
पत्र में कहा गया है कि, महाराष्ट्र इस प्रोजेक्ट को गंवाने की स्थिति में नहीं है. इसलिए सरकार इस मामले में सकारात्मक भूमिका अपनाए. उनकी पार्टी सरकार को हर संभव सहयोग प्रदान करेंगी. पत्र में मनसे प्रमुख ठाकरे ने कहा कि, कोंकण हर दृष्टि से समृद्ध है. फिर भी यहां के युवाओं को रोजगार की तलाश में मुंबई व पुणे जाना पडता है. उन्होंने कहा है कि, कोंकण को कैलिफोर्निया बनाने की बात कही जाती है पर हकीकत में कोंकण को किसी विकास के मॉडल की जरुरत नहीं है. वास्तविक रुप में कोंकण खुद विश्व के लिए एक विकास का मॉडल साबित हो सकता है. राज ने कहा- कोरोना महामारी के चलते पैदा परिस्थितियों ने सारे संदर्भ बदल दिए हैं. देश के सभी राज्यों में निवेश लाने को लेकर गलाकाट स्पर्धा जारी है. अतीत में अंतराष्ट्रीय स्तर का एक बडा प्रोजेक्ट यहां से बंगलुरु चला गया. जिसे वापस लाने की राज्य सरकार की तैयारी वापस लाने की राज्य सरकार की तैयार चल रही है. अब ऐसा कुछ नहीं होना चाहिए जिससे महाराष्ट्र को तीन लाख करोड रुपए का रत्नागिरी-राजापुर रिफाइनरी प्रोजेक्ट से हाथ न धोना पडें. उन्होंने कहा स्थानीय लोग पर्यावरण व दूसरी चिंताओं को लेकर इस प्रोजेक्ट का विरोध कर रहे हैं. बातचीत के जरिए उनकी शंकाओं व सवालों को खत्म करना चाहिए. यदि यह प्रोजेक्ट यहां से बाहर गया तो उद्योग के लिए अग्रणी महाराष्ट्र की पहचान खत्म होने में समय नहीं लगेगा.
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रिफाइनरी परियोजना को लेकर कैसे हो गया हृदय परिवर्तन : राउत
रत्नागिरी-सिंधुदूर्ग के शिवसेना सांसद विनायक राउत ने मनसे प्रमुख राज ठाकरे के प्रोजेक्ट को लेकर बदले रुख पर सवाल उठाते हैं. उन्होंने कहा कि, ठाकरे ने इससे पहले नाणार रिफाइनरी परियोजना का कडा विरोध किया था. नाणार में 221 गुजराती भू-माफियाओं ने जमीन ली है. ऐसे में मुझे आशंका है कि, राज ठाकरे को सच में कोंकणवासियों की चिंता है या फिर वे भूमाफियाओं के फायदे के लिए प्रोजेक्ट का समर्थन कर रहे.