महाराष्ट्र

मराठा समाज के उम्मीदवारों को मिलेगा ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र

फैसले से मराठा क्रांति मोर्चा नाराज

  • एनीमिया दूर करने गडचिरोली में बांटा जाएगा फोर्टीफाइट राइस

मुंबई /दि.24 – प्रदेश में मराठा समाज (एसईबीसी) के उम्मीदवारों को आर्थिक रुप से कमजोर वर्ग (ईडब्ल्यूएस) का प्रमाण पत्र दिया जाएगा. इससे मराठा समाज के उम्मीदवारों को ईडब्ल्यूएस आरक्षण का लाभ शैक्षणिक प्रवेश और सेवा भर्ती के लिए मिल सकेगा.
बुधवार को राज्य मंत्रिमंडल ने यह फैसला लिया है. सामाजिक और शैक्षणिक रुप से पिछडे (मराठा समाज) के उम्मीदवारों के लिए खुले वर्ग अथवा ईडब्ल्यूएस आरक्षण का लाभ लेना ऐच्छिक होगा. यदि कोई उम्मीदवार शैक्षणिक प्रवेश अथवा सरकारी सेवाओं में भर्ती के लिए ईडब्ल्यूएस आरक्षण का लाभ लेगा तो वह उम्मीदवार एसईबीसी (मराठा) आरक्षण के लिए पात्र नहीं होगा. मराठा समाज के उम्मीदवारों को ईडब्ल्यूएस प्रमाण पत्र देते समय ईडब्ल्यूएस उम्मीदवारों को पिछले आर्थिक वर्ष की आय और संपत्ति के आधार पर राज्य सरकार द्बारा तय निर्धारित मापदंड लगाया जाएगा. यह आदेश सुप्रीम कोर्ट में दाखिल विशेष अनुज्ञा याचिका क्र. 15737/2019 व अन्य याचिका पर अंतरिम आदेश पर निर्णय अथवा अंतिम निर्णय के अधीन होगा.
राज्य मंत्रिमंडल के फैसले पर मराठा क्रांति मोर्चा ने नाराजगी जताई है. मुंबई मराठा क्रांति के समन्वयक वीरेंद्र पवार बताया कि, हमने सरकार के कभी ईडब्ल्यूएस आरक्षण का लाभ नहीं मांगा था. राज्य सरकार मराठा समाज को तत्काल फायदा देने के लिए पूरे आरक्षण के आंदोलन को दांव पर लगाने का प्रयास कर रही है. पवार ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट ने मराठा आरक्षण को रद्द नहीं किया है. अदालत ने आरक्षण पर केवल रोक लगाई है. ऐसे में मराठा आरक्षण पर जनवरी महीने में होने वाली सुनवाई में सरकार के इस फैसले का असर पड सकता है. मराठा समाज को ईडब्ल्यूएस आरक्षण का लाभ मिलने से सुनवाई की गति धीमी पड सकती है. पवार ने कहा कि, सरकार के फैसले के तहत मराठा समाज अब ईडब्ल्यूएस आरक्षण का लाभ लेगा लेकिन अदालत में मराठा आरक्षण पर कुछ विपरीत परिणाम होगा तो इसके लिए सरकार जिम्मेदार होगी. पवार ने कहा कि, सरकार के इस फैसले से ईडब्ल्यूएस के मूल लाभार्थियों को नुकसान होगा. इससे समाज में यह भावना तैयार होगी कि मराठा समाज ने हमारे आरक्षण का लाभ छीन लिया.
राज्य में एनीमिया का प्रमाण कम करने के लिए सार्वजनिक वितरण प्रणाली के माध्यम से पोषकतत्व युक्त चावल (फोर्टीफाइड राइस) वितरित करने की योजना पूरे गडचिरोली जिले में शुरु की जाएगी. बुधवार को राज्यमंत्रिमंडल की बैठक में यह फैसला लिया गया. एनीमिया दूर करने के लिए फिलहाल सरकार की ओर से लोहयुक्त गोली दी जाती है. पर अब सरकार इसे दूर करने के लिए फोर्टीफाईड राईस का भी वितरण करना चाहती है. महाराष्ट्र इस तरह का कदम उठाने वाला पहला राज्य होगा. सरकारी राशन दुकानों के माध्यम से गडचिरोली जिले के कुरखेडा व भामरागड तहसील क्षेत्रों में फोर्टीफाइड राइस प्रयोग के तौर पर बांटे जाएंगे.

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