मुंबई/दि.4- प्रदेश के अन्य पिछडा वर्ग (ओबीसी) के राजनीतिक आरक्षण की बहाली के लिए केंद्र सरकार से लगातार एम्पिरिकल डेटा मांगने वाली महाविकास आघाडी सरकार आखिरकार राज्य पिछडा वर्ग आयोग के जरिए ओबीसी का आंकडा जुटाने के लिए तैयार हो गई है. प्रदेश सरकार ओबीसी का एम्पिरिकल डाटा (अनुभवजन्य आंकडा) जुटाने के लिए राज्य पिछडा वर्ग आयोग को निर्देश देगी. यदि पिछडा वर्ग आयोग से एम्पिरिकल डेटा की रिपोर्ट मिलने में देरी हुई तो स्थानीय निकायों के प्रस्तावित आगामी चुनावों को कुछ समय के लिए टाल दिया जाएगा. शुक्रवार को मुख्यमंत्री उद्धव ठाकरे की अध्यक्षता में सर्वदलीय बैठक में यह आम सहमति से यह फैसला लिया गया. राज्य अतिथिगृह सह्याद्री में ओबीसी के राजनीतिक आरक्षण बहाली को लेकर राज्य के कई मंत्री और विपक्ष के नेता मौजूद थे. इस बैठक में एम्पिरिकल डेटा तैयार करने के लिए राज्य पिछडा वर्ग आयोग को निर्देश देने के संबंध में सहमति बनी.
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तीन-चार महीने में जुटाया जा सकता है आंकडा : फडणवीस
विधानसभा में विपक्ष के नेता देवेंद्र फडणवीस ने कहा कि, सरकार ने आम सहमति से अभी जो फैसला लिया है वहीं फैसला यदि 13 दिसंबर 2019 को कर दिया होता तो सुप्रीम कोर्ट ओबीसी आरक्षण रद्द नहीं करता. फडणवीस ने कहा कि, बैठक में राज्य पिछडा वर्ग आयोग के जरिए एम्पिरिकल डेटा जुटाने पर सहमति बनी है. हमें लगता है कि, 3 से 4 महीने में ओबीसी का आंकडा जुटाया जा सकता है.