राज्य के जलाशयों में बचा केवल 42.65 फीसद पानी
कम बारिश की वजह से प्रदेश में जलसंकट गहराने के आसार
* छत्रपति संभाजीनगर विभाग में हालात खराब, केवल 22.19 फीसदी जल भंडारण
मुंबई/दि.16– मानसून सीजन के दौरान हुई कम बारिश का असर अब प्रदेश के जलाशयों पर दिखने लगा है. राज्य के जलाशयों में सिर्फ 42.65 फीसद जल बचा है. पिछले साल इस समय तक 62 प्रतिशत जलभंडारण था. पिछले साल की तुलना में 20 फीसदी कम पानी उपलब्ध होने से अप्रैल और मई में जलंसकट गहराने के आसार हैं.
मराठवाड़ा संभाग के जलाशयों में इस बार महज 19.35 फीसदी जल है, बीते साल यह 47.77 प्रतिशत था. जलसंसाधन विभाग ने बताया कि राज्य के छोटे, मध्यम और बड़े कुल 2994 जलाशयों में 24476.12 दस लाख घन मीटर (दलघमी) पानी उपलब्ध है. इसमें से 17267.93 दलघमी पानी इस्तेमाल योग्य है.
नागपुर विभाग के 383 जलाशयों में 52.04 प्रतिशत जलभंडारण है. पिछले साल इन जलाशयों में 53.57 प्रतिशत पानी था. अमरावती विभाग के 261 जलाशयों में 53.44 प्रतिशत पानी है. जबकि बीते साल 55.77 प्रतिशत पानी था. छत्रपति संभाजीनगर के 920 जलाशयों में 22.19 प्रतिशत जलसंचय है. जबकि पिछले साल 44.77 प्रतिशत जलभंडारण था. नाशिक विभाग के 537 जलाशयों में 43.01 प्रतिशत पानी है. जबकि गत वर्ष 58.04 प्रतिशत पानी उपलब्ध था. पुणे विभाग के 720 जलाशयों में 43.65 प्रतिशत ती है. पिछले साल 76.70 प्रतिशत जलसंचय था. पानी है. कोंकण विभाग के 173 जलाशयों में 55.42 प्रतिशत भंडारण है. पिछले वर्ष 52.74 प्रतिशत पानी था.
* विभागवार जलभंडारण की स्थिति
विभाग वर्तमान पिछले साल
नागपुर 52.04% 53.57%
अमरावती 53.44% 55.77%
छ.संभाजीनगर 22.19% 44.77%
नाशिक 43.01% 58.04%
पुणे 43.65% 76.70%
कोंकण 55.42% 52.74%
* प्रमुख जलाशयों की मौजूदा हालत
जलाशय वर्तमान पिछले साल
जायकवाड़ी 24.27% 52.36%
गोसीखुर्द 48.92% 42.41%
कामठी खैरी 46.93% 86.36%
नांद 13.35% 19.35%
लोअर दुधना 10.12% 49.94%
उजनी 0% 100%