महाराष्ट्र

ब्लैक फंगस के इलाज के लिए अब मनमाने रेट नहीं वसूल सकेंगे प्राइवेट अस्पताल

महाराष्ट्र सरकार ने तय किए दाम

मुंबई/दि. 4 – ब्लैक फंगस के इलाज(Black Fungus Treatment) को लेकर महाराष्ट्र सरकार ने बड़ा फैसला लिया है. सरकार ने प्राइवेट अस्पतालों में कोरोना के बाद अब ब्लैक फंगस के के इलाज की दर भी निश्चित कर दी है. सरकार ने साफ कहा है कि अगर तय कीमत से ज्यादा वसूली की गई तो संबंधित अस्पतालों पर कार्रवाई की जाएगी. ये आदेश 31 जुलाई 2021 तक राज्यभर में लागू रहेगा. राज्य भर में ब्लैक फंगस के इलाज के लिए कुछ प्राइवेट अस्पतालों द्वारा जरूरत से ज्यादा बिल वसूले जाने की शिकायतें आ रही थीं. इन्हीं शिकायतों को ध्यान में रखते हुए राज्य सरकार ने यह फैसला किया है. राज्य में जिन-जिन प्राइवेट अस्पतालों में ब्लैक फंगस का इलाज किया जा रहा है, उन्हें उनके संबंधित शहरों और जिलों के आधार पर बांटा गया है. इस तरह अलग-अलग श्रेणियों के आधार पर इलाज के रेट फिक्स किए गए हैं. किन सुविधाओं और सेवाओं के लिए कितने रुपए तक की अधिकतम वसूली की जा सकती है, यह राज्य सरकार के आदेश में स्पष्ट किया गया है.
ब्लैक फंगस के इलाज के लिए वॉर्ड और आइसोलेशन की सुविधाओं को तीन श्रेणियों में बांटा गया है. अ श्रेणी वाले शहर, वॉर्ड के लिए 4 हजार रुपए प्रतिदिन, ब श्रेणी के लिए 3 हजार रुपए प्रतिदिन और क श्रेणी के लिए 2 हजार 400 रुपए प्रतिदिन के हिसाब से बिल दिए जा सकेंगे. इसी तरह आईसीयू के बिना सिर्फ वेंटिलेटर और आइसोलेशन की सुविधा के लिए भी रेट तय किए गए हैं. अ श्रेणी वाले शहरों, वॉर्डों के लिए 7 हजार 500 रुपए प्रतिदिन, ब श्रेणी के लिए 5 हजार 500 रुपए प्रतिदिन और क श्रेणी के लिए 4 हजार 500 रुपए प्रतिदिन लिए जा सकेंगे. अगर मरीज को आईसीयू में रखने की जरूरत पड़ती है तो ऐसे में वेंटिलेटर और आइसोलेशन के खर्च के साथ आईसीयू का खर्च भी जुड़ जाएगा. ऐसे में अ श्रेणी वाले शहर, वॉर्ड के लिए 9 हजार रुपए प्रतिदिन, ब श्रेणी के लिए 6 हजार 700 रुपए प्रतिदिन और क श्रेणी के लिए 5 हजार 400 रुपए प्रतिदिन का बिल लिया जा सकेगा.

इस बीच किस श्रेणी में किन शहरों और जिलों को शामिल किया गया है, इसकी जानकारी भी राज्य सरकार द्वारा दी गई है. अ श्रेणी में मुंबई, पुणे और नागपुर विभाग को शामिल किया गया है. ब श्रेणी में नासिक, अमरावती, औरंगाबाद (महापालिका और कैंटोनमेंट), भिवंडी (महानगपालिका और खोनी), सोलापुर, कोल्हापुर (महानगरपालिका और गांधीनगर), वसई-विरार, मालेगाव, नांदेड, सांगली को शामिल किया गया है. इनमें शहर के कुछ हिस्सों को ही शामिल किया गया है. अ और ब श्रेणी से बचे हुए भाग क श्रेणी में माने जाएंगे.
इसके अलावा राज्य सरकार ने ब्लैक फंगस के ऑपरेशन या सर्जरी का रेट भी फिक्स कर दिया है. ऐसे 28 प्रकार के ऑपरेशन और सर्जरी का खर्च तय किया गया है. अ वर्ग के शहरों में यह खर्च 1 लाख रुपए से 10 हजार रुपए तक, ब वर्ग के शहरों में यह खर्च 75 हजार से 7500 रुपए तक और क वर्ग के शहरों के लिए यह खर्च 60 हजार से 6000 रुपए तक आएगा. राज्य सरकार की ओर से कुछ दिनों पहले महात्मा ज्योतिबा फुले जन आरोग्य योजना के तहत ब्लैक फंगस के मुफ्त इलाज का निर्णय लिया गया था. इस तरह महात्मा फुले जन आरोग्य और प्रधानमंत्री स्वास्थ्य सुरक्षा योजना के तहत ब्लैक फंगस का इलाज मुफ्त में किया जा रहा है.

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