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* जन्म प्रमाणपत्र देने का काम बंद किया गया
वर्धा /दि. 5– राज्य में फिलहाल जन्म प्रमाणपत्र देने का काम बंद किया गया है. राजस्व विभाग का आदेश ही उस तरह का है. लेकिन इसका सीधा संबंध बांग्लादेशी नागरिकों को यहां से खदेडने से जोडा जा रहा है. तहसील कार्यालय के कर्मचारी यह नागरिकों द्वारा पूछे जाने पर बांग्लादेशियों को तलाशने का काम शुरु रहने की बात अपने जवाब में दे रहे है.
विख्यात अभिनेता सैफ अली खान पर हमला करनेवाला आरोपी बांग्लादेशी निकला और राज्य में बडी संख्या में बांग्लादेशी अवैध रुप से रहने की चर्चा शुरु हो गई. रोजगार निमित्त होनेवाली यह घुसखोरी अपराधिक गतिविधियों को बढावा देते रहने की बात कही जा रही है. भाजपा नेता किरीट सोमैया ने आरोप किया था कि, अमरावती जिले में दो हजार से अधिक बांग्लादेशियों को जन्म प्रमाणपत्र दिया गया है. इस आरोप से खलबली मच गई थी. तीन दिन पूर्व कल्याण, डोंबिवली परिसर से तीन बांग्लादेशी महिलाओं को गिरफ्तार किए जाने की जानकारी है. इस पृष्ठभूमि पर राजस्व विभाग के 21 जनवरी के जारी आदेश की तरफ गौर करें तो उसमें जन्म-मृत्यु पंजीयन कानून 1969 का संदर्भ है. साथ ही उसमें 2023 में हुए सुधार निमित्त व महाराष्ट्र शासन द्वारा 10 सितंबर 2023 को निकाली अधिसूचना का उल्लेख है. इस संदर्भ के मुताबिक जन्म व मृत्यु का प्रमाणपत्र देने का अधिकार जिलाधिकारी व उपविभागीय अधिकारी को दिया गया है. इस सुधार के मुताबिक देरी से जन्म व मृत्यु प्रमाणपत्र देनेबाबत कार्रवाई हुई. इस कार्रवाई बाबत शासन के पास बडी संख्या में शिकायते है. इन शिकायतों की जांच करने के लिए गृह विभाग की तरफ से विशेष जांच दल की स्थापना की गई है. इस कारण इस सुधार के मुताबिक देरी से जन्म व मृत्यु प्रमाणपत्र वितरित करने की कार्रवाई आगामी आदेश तक न किए जाने की सूचना इस आदेश में दी गई है.