महाराष्ट्र

स्वप्निल लोनकर आत्महत्या का मामला गूंजा

31 जुलाई तक सभी रिक्तियां भरेंगे, अजित पवार की घोषणा

मुंबई/दि ५– महाराष्ट्र लोक सेवा आयोग (Maharashtra Public Service Commission- MPSC) की परीक्षा उत्तीर्ण होने के बावजूद दो सालों तक इंटरव्यू नहीं हुआ, नियुक्ति नहीं हुई. निराश होकर पुणे के स्वप्निल लोनकर (Swapnil Lonka) नाम के युवक ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली. स्वप्निल की आत्महत्या का मुद्दा आज (सोमवार) राज्य के विधानसभा में गूंजा. नेता प्रतिपक्ष देवेंद्र फडणवीस ने स्वप्निल लोनकर का सुसाइड नोट विधानसभा में पढ़ कर सुनाया और कहा कि  राज्य सरकार एमपीएससी को लेकर गंभीर नहीं है. राज्य के लाखों युवा परीक्षा, इंटरव्यू और नौकरियों के इंतजार में हैं.  सरकार ऐसी घटना होने का तक क्या कर रही थी? भाजपा नेता सुधीर मुनगंटीवार ने हमारे सहयोगी न्यूज चैनल Tv9 मराठी में दिखाए गए स्वप्निल की मां के इंटरव्यू का हवाला देते हुए स्वप्निल के परिवार को 50 लाख रुपए की मदद देने की मांग की. विपक्ष की ओर से सामने रखे गए इन मुद्दों पर बोलते हुए उप मुख्यमंत्री अजित पवार ने एक अहम घोषणा की. अजित पवार ने घोषणा करते हुए कहा कि एमपीएससी के सभी रिक्त पद 31 जुलाई 2021 तक भर दिए जाएंगे.
अजित पवार ने कहा कि सभागृह में विपक्षी नेताओं ने एमपीएससी परीक्षा उत्तीर्ण स्वप्निल लोनकर की आत्महत्या का जो मुद्दा उठाया है, वो अत्यंत ही दुखद घटना है. ऐसी घटना किसी के साथ भी नहीं होनी चाहिए. सरकार ने इस मुद्दे पर मंत्रिमंडल की बैठक बुलाई. इस बैठक में मुख्यमंत्री ने सभी सहयोगियों के साथ चर्चा की और आवश्यक कदम उठाने को कहा है.

  • अजित पवार ने MPSC के तहत नियुक्तियों में हुई देरी का कारण बताया

आगे अजित पवार ने कहा कि मुझे विपक्ष और जनता से इतना ही कहना है कि स्वप्निल लोनकर ने 2019 में राज्य अभियांत्रिकी पूर्व (Prelims) परीक्षा दी थी. मुख्य परीक्षा (Mains) 24 नवंबर 2019 को हुई. परीक्षा का परिणाम 28 जुलाई 2020 को आया. इस परीक्षा में 3671 उम्मीदवार सफल हुए. 1200 पदों के लिए परीक्षा हुई थी. इस बीच एससीबीसी (Scheduled castes, Backward Classes) वर्ग के मुद्दे को लेकर निर्णय पर सुप्रीम कोर्ट ने  9 सितंबर 2020 को स्टे दे दिया. इस वजह से सारी प्रक्रियाएं रोकनी पड़ीं. इस वजह से उत्तीर्ण उम्मीदवारों के लिए इंटरव्यू आयोजित नहीं करवाया जा सका.
आगे अजित पवार ने बताया कि इसी दौरान कोविड संक्रमण का दौर आ गया. चूंकि एमपीएससी एक स्वायत्त संस्था है, इसलिए अपने अधिकार का इस्तेमाल करते हुए आयोग ने परीक्षा रद्द कर दी. मुख्यमंत्री ने इस पर तुरंत हस्तक्षेप किया. आयोग के अध्यक्ष से संपर्क किया. मुख्यमंत्री ने उनसे कहा कि स्वायत्तता होने के बावजूद इस तरह का निर्णय उचित नहीं है.

  • सरकार 31 जुलाई तक MPSC की सभी रिक्तियां भरेगी

उप मुख्यमंत्री ने कहा कि स्वप्निल ने निराशा में जो कदम उठाया वो उसे नहीं उठाना चाहिए था. कल (रविवार) मंत्रिमंडल की बैठक में इस मुद्दे पर हमने गंभीरता से विचार किया. सभी सहयोगियों ने अपने विचार रखे. मुख्यमंत्री ने अपनी स्पष्ट राय रखी. आज मैं सभागृह को यह बताना चाहता हूं कि सरकार 31 जुलाई 2021 तक एमपीएससी की सभी खाली जगहों को भरेगी. इसमें कोई रूकावट हम आने नहीं देंगे.

 

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