नाशिक/दि.06– सरकारी ठेकेदार के निवासस्थान और कार्यालय में आयकर विभाग व्दारा की गई जांच में बरामद अवैध व्यवहार की रकम 1100 करोड तक पहुंच गई है. इस संदर्भ के दस्तावेज, हार्डडिस्क, पेन ड्राइव आयकर विभाग के हाथ लगे हैं. इस जांच में लॉकर में करीबन 9 करोड रुपए नकद बरामद हुए तथा 3 करोड के आभूषण भी मिले हैं. लगातार पांच दिन यह जांच चली. पिछले 3 साल में आयकर विभाग की यह सबसे बडी कार्रवाई मानी जा रही है.
गत 31 जनवरी को आयकर विभाग के अधिकारियों ने शहर में एक साथ 8 सरकारी ठेकेदार और बांधकाम व्यवसायियोंं के निवासस्थान पर और कार्यालयों में छापे मारकर जांच अभियान शुरु किया था. मिली जानकारी के मुताबिक इन ठेकेदारों ने नकद और कागजपत्र छपाने के लिए काफी दिमाग दौडाए. एक ठेकेदार ने घर की छत में गोपनीय लॉकर बनाया था. जिसमें वह संदेहास्पद व्यवहार के कागजपत्र जमा करता था. वह सभी दस्तावेज आयकर विभाग ने जब्त किए. साथ ही शहर के बाहर एक विरानस्थल में झाडियों में छिपाई गई कार में से करीबन डेढ करोड रुपए भी जब्त किए गए. इसके अलावा कर्मचारियों के नाम रहे लॉकर्स की जांच करते हुए उसमें रही रकम भी आयकर विभाग के दल ने जब्त की.
* खिडकी के बाहर फेंके दस्तावेज
– जांच शुरू होने की भनक लगने से एक ठेकेदार ने खिडकी के बाहर से खुली जगह पर कुछ दस्तावेजों की फाइल फेंक दी थी. तीन दिन बाद इस फाइल का पता चला.
– इसके अलावा ठेकेदार की कार तथा घर की छत में छिपाए गए दस्तावेज तथा नकद और कर्मचारी के पास छिपाने के लिए दिए पैसे संबंधित कर्मचारी के घर के पलंग के नीचे से जब्त किए गए. एक ठेकेदार ने पंखे के पत्तों पर पेनड्राइव रखा था. लेकिन आयकर विभाग के दल की नजर से यह बात छुप नहीं पाई.
* जब्त पैसे सरकारी तिजोरी में जमा
इस जांच अभियान में बरामद हुए अवैध संपत्ति सरकारी तिजोरी में जमा कर दी गई है. इसकी रसीद भी आयकर विभाग को प्राप्त हो गई है. जगह-जगह से बदामद हुई रकम गिनने के लिए मशीन मंगवाने की नौबत आ गई थी.