महाराष्ट्र

गलत चल रहा है, अब उन्हें सभी तरह के आरक्षण चाहिए, फिर ओबीसी तो खत्म

मंत्री छगन भुजबल का दावा

मुंबई/दि.8– जिन्हें कानूनन आरक्षण नहीं दे सकते, उन्हें कुणबी प्रमाणपत्र देना और ओबीसी में लाना. इसी तरह जो ओबीसी है, उन्हें हाईकोर्ट में लडकर ओबीसी से बाहर करना, इस तरह का दोहरा कार्यक्रम वर्तमान में जारी है, ऐसा दावा छगन भुजबल ने किया है. बालासाहब सराटे ने 27 प्रतिशत ओबीसी आरक्षण के विरोध में उच्च न्यायालय में याचिका दायर की है. इस संदर्भ में छगन भुजबल ने पत्रकारो से बातचीत की.

छगन भुजबल ने कहा कि हम इस पर नजर रखे हुए है. मनोज जरांगे के कहने का सीध अर्थ है कि उन्हें सभी तरह का आरक्षण चाहिए. वह कहेंगे उसके मुताबिक उन्हें वह चाहिए. एक बार ओबीसी प्रमाणपत्र मिला कि वें ओबीसी में आ जाएंगे. फिर उन्हें शिक्षा, रोजगार और राजनीतिक फायदे मिलना चाहिए, ऐसा उनका कहना है. इसमें 374-75 जाति है. इसमें यह सभी लोग आ गए तो किसी को कुछ नहीं मिलेंगा. फिर ओबीसी तो समाप्त हो गया, ऐसा छगन भुजबल का कहना था. मराठा आरक्षण का विरोध नहीं है. उन्हें अलग आरक्षण दो, कानून में कुछ त्रुटियां रही होगी तो उसे दुरुस्त करो. हम आपके साथ खडे रहेंगे, लेकिन खुल्लम-खल्ला और सीधा चाहिए, ऐसा भी भुजबल ने कहा.

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