महाराष्ट्र

जो जीते जी बालासाहब को छोडकर चले गये, वो उनके स्मारक पर बात न करे

शिवसेना ने मनसे पर कसा तंज

मुंबई/दि.१७ – शिवसेना प्रमुख बालासाहब ठाकरे के स्मृति दिवस के अवसर पर शिवसेना और मनसे के बीच तनावपूर्ण स्थिति बन गयी. बता दें कि, बालासाहब ठाकरे के स्मारक हेतु छत्रपति शिवाजी महाराज पार्क स्थित मुंबई के महापौर का बंगला अधिग्रहित किया गया था. जहां पर बालासाहब ठाकरे का राष्ट्रीय स्मारक बनाया जाना था, किंतु अब तक इस स्मारक को लेकर कोई हलचल नहीं हो रही. जिसे लेकर मनसे द्वारा शिवसेना को सवालों के कटघरे में खडा किया गया था.
इस संदर्भ में मनसे नेता संदीप देशपांडे ने ‘स्मारक या मातोश्री-3’ लिखकर टि्वट करते हुए कहा कि, बालासाहब ठाकरे के स्मारक हेतु तीन वर्ष पूर्व मुंबई के महापौर का बंगला हस्तांतरित किया गया था. लेकिन पिछले तीन वर्षों के दौरान यहां पर कोई हलचल नहीं है और यह बंगला बंद अवस्था में पडा है. यह कोई निजी संपत्ति नहीं है. ऐसे में शिवसेना ने जनता को बताना चाहिए कि, बालासाहब ठाकरे के स्मारक का क्या हुआ.
इस पर शिवसेना नेता सांसद संजय राउत ने पलटवार करते हुए कहा कि जिन लोगों ने बालासाहब ठाकरे को उनके जीते जी छोड दिया, उन्हें ठाकरे स्मारक पर बात करने का कोई अधिकार नहीं है. इसके साथ ही उन्होंने यह भी कहा कि, शिवसेना को अपने हिंदुत्व के लिए किसी प्रमाणपत्र की जरूरत नहीं है. बालासाहब ने 55 वर्ष पहले जो राजनीतिक विचार रखे थे, आज देश की पूरी राजनीति उन्हीं विचारों के इर्द-गीर्द घुम रही है. शिवसेना पहले भी प्रखर हिंदुत्ववादी थी और आगे भी प्रखर हिंदुत्ववादी रहेगी. गत वर्ष इसी समय सरकार बनाने की प्रक्रिया चल रही थी और लोगों के मन में कई शंकाएं थी, वहीं इस बार बालासाहब के स्मृतिस्थल पर शिवसेना के मुख्यमंत्री के तौर पर शिवसेना के पार्टी प्रमुख उध्दव ठाकरे उन्हें मानवंदना देने पहुंचे. यह अपने आप में गर्व का क्षण है.

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