महाराष्ट्र

बालभारती की पाठ्यपुस्तक में हजारों गलतियां

कक्षा ११ वीं के छात्रों को वाणिज्य संगठन और प्रबंधन के सिखाए जा रहे पाठ

पुणे/दि. ९ – बालभारती की कक्षा ११ वीं की वाणिज्य संगठन और प्रबंधन‘ विषय की पाठ्यपुस्तक में ढेरों गलतिया होने का मामला उजागर हुआ है. विगत वर्ष की पुस्तक में सुधार करने का बालभारती का कहना है. प्रत्यक्ष में पुस्तक में अभी तक गलती होने की बात सामने आयी है.

वाणिज्य संगठन और व्यवस्थापन विषय का अभ्यास मंडल के पूर्व सदस्य प्रा. भानुदास चौधरी ने यह गलतियां बता दी.‘वाणिज्य संगठन और व्यवस्थापन ‘यह मराठी माध्यम की पुस्तक २०१९ में प्रसिध्द की गई. पाठ्यपुस्तक के हर एक पेज पर ढेरों गलतिया हैं. इनमें व्याकरण और आशय दोनों गलतियों का समावेश है. पाठ्यपुस्तक की गलतियों को बीते वर्ष मंडल की ओर से ध्यान में लाकर दिया गया था. इनमें से कुछ गलतियों को सुधारा गया है. लेकिन अभी भी पाठ्यपुस्तक पूरी तरह से गलतियों से दुरूस्त नहीं हुआ है. इसलिए छात्रों का नुकसान हो रहा है. इस विषय के लिए अभ्यासमंडल अपात्र है. इस अभ्यास मंडल को बर्खास्त किया जाए. इसके अलावा पाठ्यपुस्तक को रद्द कर उसका खर्च अभ्यासमंडल के सदस्यों से वसूल किया जाए. विनोद तावडे और प्राची साठे के दौर में अभ्यास मंडल की नियुक्ति की गई है. यह जानकारी प्रा.चौधरी ने दी.

फास्टफुड यानी पौष्टिक आहार

बालभारती के पाठ्यपुस्तक में सावित्रीबाई फुले पुणे विद्यापीठ का नाम पूरी तरह से गलत छपा है. विश्व बैंक की ओर से जानकारी देते समय बोर्ड ऑफ गवर्नस का भाषण कर राज्यपाल मंडल किया गया है. वही फास्टफुड की जगह पर पौष्टिक आहार लिखा गया है. यह जानकारी प्रा. भानुदास चौधरी ने दी.

  • चौधरी की ओर से बीते वर्ष मंडल की गलतियों को लेकर ध्यानाकर्षण कराया गया था. जिनमें गलतियों का सुधार करके उनका शुध्दिपत्र सभी कनिष्ठ महाविद्यालय को भेजा गया है. उसी प्रकार संकेतस्थल पर ही उसकी प्रत उपलब्ध है. शैक्षणिक वर्ष २०२० के लिए पुस्तक में गलती का सुधार करके पुनर्मुद्रण किया गया है. फिर भी पुस्तक में कुछ गलतियां रहने पर उस मंडल को सूचित करे.उस अभ्यास मंडल के सामने रखकर अभिप्रायनुसार आवश्यक हो वह कार्रवाई की जायेगी. विवेक गोसावी संचालक बालभारती

बॉक्स फास्ट फूड यानी सकस आहार

इन गलतियों में सावित्रीबाई फुले पुणे विद्यापीठ का नाम गलत है. वैश्विक बैंक की जानकारी देते हुए बोर्ड ऑफ गव्हर्नर्स की भाषा के बाद ‘राज्यपाल मंडल‘ ऐसा किया गया है तथा ‘फास्ट फुड की जगह ‘सकस आहार‘ ऐसा लिखा गया है,ऐसी जानकारी भानुदास चौधरी ने दी.

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