महाराष्ट्र

एसएनसीयू में साल भर में 50 हजार बालकों पर उपचार

वजन 1 किलो से भी कम, फिरभी बची जान

पुणे/दि.6– बीमारी, कम वजन के नवजात बालकों पर उपचार करने के लिए राज्य के सार्वजनिक स्वास्थ्य विभाग के अस्पताल में 53 विशेष नवजात देखभाल कक्ष एसएनसीयू है. इस कक्ष में सालभर में 50 हजार गंभीर बीमारी बालकों पर उपचार किया है. इसमें एक किलो से अधिक कम वजन रहने वाले 139 तथा एक से डेढ किलो वजन के 2 हजार 353 बालकों पर उपचार किया गया है.
निजी अस्पताल में नवजात बालकों पर उपचार महंगा है. हर दिन 10 हजार से 25 हजार रुपए खर्च आ सकता है. लेकिन एसएनसीयू में निशुल्क उपचार मिल रहा है.

नवजात शिशु को दुध पिलाना, कम वजन के शिशु को कांगारू मदर सेवा, जन्मजात दृष्टिहीनता जांच, बहरापन जांच आदि जैसी जांच निशुल्क की जाती है. आवश्यकता रहने पर मुफ्त ब्लड भी दिया जाता है.
-डॉ.नितिन अंबाडेकर, संचालक,
सार्वजनिक स्वास्थ्य विभाग

*क्या है फैमिली पार्टिसिपेटरी केयर?
नवजात शिशु की देखभाल में परिवार की सहभाग इस कार्यक्रम अंतर्गत बालक अस्पताल में भर्ती रहने पर माात-पालक, तथा संपूर्ण परिवार को बालक की देखभाल करने संबंध में कौशल बढाने मदद की जाती है. तथा नवजात बालक को संभालने का प्रशिक्षण भी दिया जाता है.

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