महाराष्ट्र

मैं रहूं या ना रहूं, आंदोलन जारी रहना चाहिए

मुंबई मार्च पर निकले मनोज जरांगे ने किया आवाहन

अहमदनगर/दि.22– मराठा आरक्षण को लेकर इस समय ‘अभी नहीं तो कभी नहीं’ वाली स्थिति बन गई है. ऐसे में हम अब अपने कदम पीछे नहीं खींच सकते. अत: अगर मैं मुंबई से वापिस नहीं लौट पाता हूं, या मेरे साथ कोई दगा-फटका होता है, तो भी मराठा समाज ने आरक्षण को लेकर फिलहाल चल रहे आंदोलन को आगे भी जारी रखना चाहिए. इस आशय का आवाहन जालना से मुंबई जाने हेतु निकले मराठा आंदोलक मनोज जरांगे पाटिल द्वारा किया गया.

बता दें कि, मराठा आरक्षण की मांग को लेकर मनोज जरांगे द्वारा मुंबई हेतु निकाले गये पैदल मौर्चे का सोमवार 22 जनवरी को तीसरा दिन था. इससे पहले रविवार की सुबह 10 बजे मातोरी गांव से निकले मनोज जरांगे देर रात बाराबाभली गांव पहुंचे. जहां से आज सुबह रवाना होकर वे शाम में रांजन गांव गणपति पहुंचेंगे और रात्रि विश्राम करेंगे. इस दौरान सुपा गांव में उनके दोपहर के भोजन की व्यवस्था की गई थी. इस दौरान खुद से मिलने आये मराठा समाज बंधुओं से मनोज जरांगे पाटिल ने कहा कि, राजनीतिक दलों और सत्ताधारियों ने मराठा समाज के वोटों के दम पर अपनी राजनीतिक रोटियां सेकी है. ऐसे मेें अब यदि मराठा समाज को आरक्षण देने में कोई भी टालमटोल होती है, तो ऐसे नेताओं का जमकर घेराव किया जाये तथा उन्हें उनकी जगह दिखाई जाये.

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