मराठों को ओबीसी में चाहिए आरक्षण

देखें कितनी रियायत मिलती है

* ओबीसी सुविधाओं पर पड सकता है असर
अमरावती/ दि. 2 – मराठा समाज को ओबीसी कोटे से ही आरक्षण दिए जाने की मांग लेकर एक बार फिर पिछले सप्ताह से आंदोलन और भूख हडताल चल रही है. ओबीसी को आरक्षण रहते फीस आदि में कितनी रियायत मिलती है, यह आंकडों से स्पष्ट होने के साथ कहा जा रहा है कि ओबीसी सुविधाओं पर असर पडेगा.
कुछ प्रमुख योजनाओं में मिलनेवाली फीस रियायत और आर्थिक सहायता
1. मैट्रिकोत्तर शिष्यवृत्ति योजना – केन्द्र और राज्य सरकार द्बारा ओबीसी, घुमंतू जाति, विशेष पिछडा प्रवर्ग एसबीसी विद्यार्थियों हेतु यह योजना लागू है. जिसमें देखभाल और ट्यूशन फीस भत्ते का भी प्रावधान है.
आवेदनकर्ता के महाराष्ट्र का निवासी होना, अभिभावकों की वार्षिक आय 1.5 लाख से कम होना, अनुत्तीर्ण होने पर उस वर्ष लाभ नहीं मिलता.
व्यवसायिक अभ्यासक्रम हेतु पहले प्रयत्न में असफल रहने पर शुल्क रिफंड होता है. देखभाल भत्ता गट अ में 425 रूपए प्रतिमाह और होस्टल से बाहर रहनेवालों को 190 रूपए प्रतिमाह.
गट ब और क – होस्टल में रहनेवालों को 290 रूपए प्रतिमाह और होस्टल से बाहर रहनेवालों को 190 रूपए प्रतिमाह.
गट ड – होस्टल में रहनेवालों को 230 रूपए प्रतिमाह और होस्टल के बाहर रहनेवालों को 120 रूपए प्रतिमाह
2 – विदेश में शिक्षा हेतु छात्रवृत्ति योजना
ओबीसी, वीजेएनटी और एसबीसी विद्यार्थियों को परदेश में उच्च शिक्षा के लिए आर्थिक सहायता.
फीस सहूलियत
– 2024-25 में 75 विद्यार्थियों हेतु 50-50 लाख औार कुछ प्रकरणों में 1 करोड तक शुल्क मंजूर किए गये.
– 2023 में 34 विद्यार्थियों को 12.88 करोड फंड दिया गया.
– ज्ञान ज्योति सावित्रीबाई फुले आधार योजना
– ओबीसी वीजेएनटी और एसबीसी विद्यार्थियों को मुंबई पुणे नागपुर सहित प्रतिवर्ष 32 हजार रूपए भोजन भत्ता, 20 हजार रूपए निवासभत्ता और 8 हजार रूपए उदर निर्वाह ऐसे 60 हजार रूपए दिए जा रहे हैं. महापालिका और अन्य क्षेत्र में यह रकम 51 हजार रूपए प्रतिवर्ष है.
– ओबीसी विद्यार्थियों को देश में 10 लाख रूपए तक और विदेश में 20 लाख रूपए तक लोन 5 वर्ष के लिए मात्र 12 प्रतिशत ब्याज पर उपलब्ध हैं. शर्त केवल इतनी है कि आवेदक महाराष्ट्र का निवासी एवं ओबीसी समाज का होना चाहिए.

Back to top button