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विदर्भ के 110 निर्माण प्रकल्प

अमरावती के 24 प्रोजेक्ट अस्थागित

* महारेरा की कडी कार्रवाई
* अन्य 1137 प्रकल्प भी रडार पर
मुंबई/दि.10- गृह खरीदीदारों के साथ धोखेबाजी न हो, इसके लिए स्थापित महारेरा ने प्रदेश के 1750 लैप्स प्रकल्पों को केप्ट इन अबेअंस अर्थात अस्तागित किया है. इसका अर्थ निर्माण या हैंड ओवर, जो भी काम चल रहा है. उसे वैसे ही रखने कहा गया है. प्रकल्प लैप्स घोषित होने पर उस प्रकल्प की इस्तेहार विक्री अथवा पंजीयन नहीं किया जा सकता. महारेरा ने अन्य 1137 प्रकल्पों पर भी इसी प्रकार की कार्रवाई शुरू की है. अस्तागित प्रोजेक्ट में विदर्भ के 110, मराठवाडा के 100, उत्तर महाराष्ट्र के 135, पुणे के 628 प्रकल्पों का समावेश है. महारेरा की वेबसाईट पर इस बारे में लिस्ट उपलब्ध है और ग्राहकों से इन प्रोजेक्ट में निवेश करते समय सावधानी रखने कहा गया है. अमरावती के दो दर्जन प्रोजेक्ट रहने की जानकारी देते हुए बताया गया कि अकोला के 8, बुलढाना के 3 एवम यवतमाल के 6 प्रोजेक्ट है.
महारेरा ने प्रदेश के सभी प्रोजेक्ट का अवलोकन करने के बाद 6638 प्रोजेक्ट को एक माह की नोटिस दी थी. 3751 प्रोजेक्ट के कुछ प्रकल्प पुर्णतः प्रपत्र 4 महारेरा वेबसाईट पर अपडेट की. कुछ ने प्रकल्प पंजीयन का नवीनीकरण हेतु आवेदन किया. कुछ प्रकल्प पंजीयन के बाद से ही कोई हलचल न होने से उसे रद्द करने का प्रस्ताव रखा गया. शेष 2887 प्रकल्पों में 1750 प्रकल्प अस्थागित किए गए. बाकि 1137 प्रकल्पों पर भी अस्थागित की कार्रवाई शुरू रहने की जानकारी माध्यम सलाहकार राम दोतोंडे ने दी.
महारेरा की तरफ से बताया गया कि प्रोजेक्ट के पंजीयन के समय डेवलपर्स को प्रकल्प प्रत्यक्ष मे कब पूर्ण होगा, इसकी निश्चित तारीख बतानी पडती है. घोषित प्रकल्प पूर्ती की तारीख के बाद प्रकल्प पूर्ण हो गया है तो उपयोग प्रमाण पत्र अर्थात प्रपत्र 4 पेश करना होता है. प्रोजेक्ट अधूरा रहने पर उसके नवीनीकरण की प्रक्रिया शुरू करना अपेक्षित है. प्रोजेक्ट शुरू करने में ही दिक्कते आने पर उसे रद्द करने का आवेदन आवश्यक है. इसमें से कोई भी कार्यवाही नहीं की गई तो ऐसे प्रकल्प को उसकी पुर्णता की तारीख के बाद लैप्स घोषित किया जाता है. लैप्त घोषित प्रकल्प की खरीदी-विक्री नहीं की जा सकती.

प्रदेश के अस्थागित प्रकल्प की जानकारी
कोकण- 761
मुंबई शहर -48, मुंबई उपनगर -115, ठाणे- 182, पालघर-92, रायगड-216, रत्नागिरी 77, सिंधुदुर्ग-23
पुणे- 628
पुणे-462, कोल्हापुर-36, सातारा -79, सांगली-27, सोलापुर-24
उत्तर महाराष्ट्र -135
नाशिक-87, नगर-32, जलगांव -10, धुले और नंदुरबार-3-3
विदर्भ 110
अमरावती-24, नागपुर-50, भंडारा-2, गडचिरोली-1, चंद्रपुर-9, अकोला -8, यवतमाल-6, बुलढाणा-3, वर्धा-7
मराठवाडा- 100
संभाजी नगर -66, बीड-13, जालना-7, लातुर-5, परभणी-5, नांदेड-3, हिंगोली-1
दादर नगर हवेली-13, दमन-3

अध्यक्ष अजोय मेहता का कहना
महारेरा अध्यक्ष अजोय मेहता के अनुसार महारेरा घर खरीदी में किसी भी ग्राहक की किसी भी प्रकार से धोखाधडी न हो, इसके लिए लगातार प्रयत्नशील है. डेवलपर्स को सभी जानकारी देनी चाहिए. महारेरा विविध नियमों के प्रावधान के आधार पर विभिन्न स्तरों पर सुक्ष्म सनियंत्रण कर रहा है. इस काम के लिए पूर्णत समर्पित अनुपालन कक्ष स्थापित किया गया है.

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