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29 वर्ष बाद धरा गया सीआरपीएफ अधिकारी का हत्यारा

छुट्टी न मिलने से बौखलाए जवान ने की थी फायरिंग

आर्वी/दि.1-  सन 1992 के दौरान त्रिपुरा में एक सीआरपीएफ जवान द्वारा की गई फायरिंग में गार्ड कमांडर लान्स नायक करजोमल की मौत हो गई थी. वहीं कुछ अन्य कर्मचारी घायल हो गये थे. घटना के पश्चात संत्री गार्ड की ड्यूटी पर तैनात सुभाष नाखले अपनी राईफल सहित मौके से फरार हो गया था. जिसे 29 वर्ष बाद वर्धा जिले की आर्वी पुलिस द्वारा गिरफ्तार किया गया. लान्स नायक करजोमल द्वारा छुट्टी देने से इन्कार किये जाने पर सुभाष नाखले ने तैश में आकर अंधाधुंद फायरिंग की थी. इस घटना के बाद सीआरपीएफ सहित पुलिस द्वारा सुभाष नाखले की तलाश शुरू की गई. किंतु सुभाष नाखले नाम बदलकर महाराष्ट्र सहित गुजरात के कई जिलों में छिपकर रह रहा था. इस बीच वर्ष 2012 में सुभाष अपने पिता से मिलने धनोडी गांव आया था और केवल दो घंटे ही गांव में रूका था. जिसकी जानकारी पुलिस को कुछ विलंब से मिली. इसके बाद से आर्वी पुलिस का पथक और मुखबिरों द्वारा सुभाष के घर पर नजर रखी जा रही थी. पश्चात गत रोज खेत जमीन का हिस्सा मांगने के लिए सुभाष एक बार फिर अपने गांव लौटा. जिसकी जानकारी मिलते ही पुलिस ने तुरंत दबीश डालकर उसे अपने कब्जे में लिया. इस समय की गई पूछताछ में सुभाष ने बताया कि, उसने अपनी राईफल काफी पहले त्रिपुरा में ही एक व्यक्ति को दे दी थी. जिसकी जानकारी आर्वी पुलिस द्वारा सीआरपीएफ बटालियन व त्रिपुरा के कंचनपुरा पुलिस थाने को दी गई. 29 वर्ष तक फरार रहनेवाले आरोपी पर नजर रखने और उसे गिरफ्तार करने का यह अपनी तरह का पहला मामला है.

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