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छत्री तालाब मामले की सुनवाई आगे टली

22 मई को होगी अंतिम सुनवाई

* एनडीटी के समक्ष मनपा का नक्शा पेश
अमरावती/दि.8– स्थानीय मनपा क्षेत्र अंतर्गत छत्री तालाब के घाटों पर किये गये सौंदर्यीकरण व निर्माणकार्य के मुद्दे को लेकर स्थापित सुनवाई को आगे ढकेल दिया गया है और अब इस मामले में आगामी 22 मई को अंतिम सुनवाई होगी. इस दौरान अमरावती महानगरपालिका ने संबंधित जगह के नक्शे व रेखाचित्र को राष्ट्रीय हरीत लवाद के समक्ष पेश कर दिया है.

बता दें कि, बता दें कि, राज्य सरकार की निधि से अमरावती महानगरपालिका ने छत्री तालाब पर सौंदर्यीकरण के कार्यों सहित कई विकास काम किये है. साथ ही वहां पर और भी कुछ काम प्रस्तावित किये गये है. वहीं दूसरी ओर मनपा द्वारा किये गये एवं प्रस्तावित कामों की वजह से छत्री तालाब पर पानी पीने हेतु आने वाले वन्य पशुओं के लिए खतरा उत्पन्न होने की बात कहकर पोहरा बचाव समिति ने याचिका दायर की है. जिस पर निजी संस्था ने जुलाई 2023 में निरीक्षण करते हुए तालाब के जलक्षेत्र के आसपास कोई निर्माण नहीं किये जाने की रिपोर्ट दी थी. जिसके चलते पोहरा बचाव समिति ने आपत्ति उठाई कि, मनपा ने दूषित जलक्षेत्र पर निर्माण किया है. वहीं महानगरपालिका ने अपना बचाव करते हुए कहा कि, निर्माण से पहले इस स्थान पर पानी प्रवाहित नहीं था, बल्कि वहां से गाद की खुदाई करने के बाद पानी को प्रवाहित किया गया.

इस मामले में पोहरा बचाव समिति व महानगरपालिका का युक्तिवाद सुनने के बाद भी वास्तुस्थिति स्पष्ट नहीं होने के चलते लवाद ने निर्माणकार्य से पहले और मौजूदा स्थिति स्पष्ट होने लायक रेखाचित्र, छायाचित्र व नक्शे पेश करने का निर्देश महानगरपालिका को दिया था. इस मामले में 6 मई को अंतिम सुनवाई होने वाली थी. जिसे आगे ढकेल दिया गया है और अब यह अंतिम सुनवाई 22 मई को होने वाली है. ऐसी जानकारी पोहरा बचाव समिति के नीलेश कंचनपुरे द्वारा दी गई.
इसी बीच अमरावती मनपा ने विगत 3 मई को संबंधित जगह के नक्शे रेखाचित्र व छायाचित्र हरित लवाद के पास पेश कर दिये है. ऐसे में अब 22 मई को होने वाली अंतिम सुनवाई में क्या निर्णय आता है, इस पर छत्री तालाब परिसर में हुए निर्माणकार्य, सौंदर्यीकरण सहित प्रस्तावित कामों का भविष्य निर्भर करेगा.

 

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