डेढ़ वर्ष से स्टैंप पेपर विक्रेताओं के कक्ष की बिजली तहसीलदार ने काट रखी है
बिना उजाले के करते है सभी बिक्री, बढ़ते बिजली बिल के कारण तहसीलदार है संतप्त
अमरावती दि.19- सुबह आते ही बिजली और पंखे शुरू रखने से बेतहाशा बिजली बिल आने और महावितरण कंपनी द्वारा बकाया अदा करने कडी भूमिका लिए जाने के कारण संतफ्त हुए अमरावती के तहसीलदार संतोष काकडे ने स्ैंप विक्रेताओं की बिजली पिछले डेढ़ वर्ष से काट रखी है. स्टैप पेपर विक्रेता बिना बिजली के उजाले के ही अपने कक्ष में बैठकर स्टैंप की बिक्री करते है.
बकाया बिल की वसूली को लेकर महावितरण कंपनी के अधिकारी लगातार अभियान चला रहे है और बकाया अदा न करने पर बिजली कनेक्शन काट भी रहे है. अमरावती तहसील कार्यालय भी इस कार्रवाई से अछूता नहीं रहा है. इस तहसील कार्यालय के स्टैंप पेपर विक्रेताओं के कक्ष में लगी बिजली का बिल आने पर उसे प्रशासन द्वारा ही अदा किया जाता है. लेकिन सुबह से रात तक सभी लाईट और पंखे शुरू रहने के कारण बिजली बिल में लगातार वृद्धि हो रही थी. इस कारण महावितरण कंपनी द्वारा इस बिल को अदा करने के लिए समय-समय पर हिदायत दी जा रही थी. इस कारण तहसीलदार संतोष काकडे द्वारा स्टैंप विक्रेताओं को बिजली बिल का इस्तेमाल करने में अंकुश रखने का अनुरोध किया गया था. लेकिन विक्रेताओं में इसका कोई असर नहीं हुआ था. सहयोग न मिलने के कारण संतप्त हुए तहसीलदार संतोष काकडे ने आखिरकार एक से डेढ़ माह पूर्व स्टैंप पेपर विक्रेताओं के कक्ष का बिजली का कनेक्शन काट दिया. तबसे यह सभी विक्रेता अंधेरे में बैठकर ही बिना उजाले के स्टैप पेपर की बिक्री करते है. खरीददारो की भीड बढ़ने पर उन्हें काफी कठिनाई का सामना करना पडता है. आवश्यकता पडने पर वह अपने मोबाईल की बैटरी का इस्तेमाल उजाले के लिए करते है. स्टैंप विक्रेताओं का कहना है कि तहसील प्रशासन द्वारा यह कनेक्शन काटा गया है, उन्होंने फिर से शुरू करना चाहिए.
तहसीलदार का कहना नया मीटर लगाए
पिछले डेढ़ वर्ष से बिना बिजली के अंधेरे में कक्ष में बैठकर स्टैंप पेपर की बिक्री करने वाले सभी विक्रताओं को तहसीलदार ने नया बिजली कनेक्शन लेने कहा है. लेकिन हम सभी लाइसेंस होल्डर है. पिछले 40 से 50 सालो से स्टैंप पेपर बिक्री कक्ष में बिजली का कनेक्शन है, उसे ही शुरू करना चाहिए.
संजय देशमुख, अध्यक्ष स्टैंप पेपर विक्रेता संगठन
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विक्रेताओं का सहयोग जरूरी
स्टैंप पेपर विक्रेताओं की बिजली छह माह पूर्व काटी गई है. बढ़ते बिजली बिल के कारण हिदायत देने के बावजूद उनमें कोई फर्क नहीं पडा था. महावितरण के अधिकारी अनेक बार बिजली काटकर जा रहे थे. यदि सहयोग देने का आश्वासन दिया गया और सामंजस्य की भूमिका रखने का वादा किया गया तो उन्हें बिजली शुरू करवाने में कोई दिक्कत नहीं है. उन्होंने सामने से आकर बात करनी चाहिए.
संतोष काकडे, तहसीलदार अमरावती