‘टीइटी’ के विरोध में ‘पुनर्विचार’पर शिक्षक कायम
अन्य पांच राज्योे मेे याचिका दायर, महाराष्ट्र में क्यों नहीं?

* शिक्षक संगठनाओं का सवाल
अमरावती /दि.13 – सेवा के शिक्षको ने पिछले दो वर्षो में ‘टीइटी’ उत्तीर्ण करने के सर्वोच्च न्यायालय के निर्णय के विरोध में राज्य सरकार से पूनर्विचार याचिका दायर करें ऐसी मांग करते हुए राज्य की शिक्षक संगठनाओं ने आंदोलन किया. जिसमेे राज्य सरकार ने पुनर्विचार याचिका दायर नहीं करने से शिक्षक संगठनाओं द्वारा नाराजगी व्यक्त कि जा रहीं हैं. वहीं शिक्षक संगठनांओं ने राज्य सरकार से सवाल किया की अन्य पाचं राज्यों में पुनर्विचार याचिका दायर की जा सकती हैं. तोें महाराष्ट्र राज्य में क्यो नहीं?
शिक्षक संगठनाओ द्वारा राज्य सरकार पर यह भी आरोप लगया जा रहा हैं कि. उनके आंदोलन को दबाने का प्रयास किय जा रहा है. कक्षा 1 से 8 तक 52 वर्ष तक उम्र के शिक्षकों को सर्वोच्च न्यायालय ने ‘टीइटी’ उत्तीर्ण होना अनिर्वाय किया हैं. 1 सितंबर के निर्णायानुसार राज्य के 1 लाख 62 हजार शिक्षकों को 2 वर्ष में ‘टीइटी’ उत्तीर्ण करनी ही होगी. इस पर सरकार ने पुनर्विचार याचिका दायर करने कि मांगो लेकर शिक्षक संगठना अभी भी कायम हैं.
23 नवंबर कोे ‘टीइटी’ परिक्षा ली जाएंगी. जिसके लिए शासन ने तैयारियां शुरू कर दी हैं. जिले के विविध केंद्रो पर 2 सत्र में परिक्षा होगी. और उसके पश्चात सर्वोच्च न्यायालय के आदेशानुसार शिक्षकोे को और भी दो परिक्षा के अवसर दिए जाएंगे. परिक्षा मेे जो शिक्षक अनुत्तीर्ण होेंगे. उन्हेें अपनी नौकरी गवाने का भय हैं. अनेक शिक्षकोे ने यह निर्णय रद्द नही होगा ऐसा समझकर परिक्षा की तैयारी शुरू कर दी हैं. वहीं दुसरी और यह निर्णय रद्द किए जाने के लिए 14 व 24 नवंबर को दिल्ली के जंतरमंतर मैदान पर आंदोलन करने का निर्णय लिया गया हैें. इस दौरान राज्य की सभी शालाए बंद रहेंगी ऐसा शिक्षक संगठनाओ ने कहां.





