नगर परिषद/नगर पंचायत की मतगणना अब 21 दिसंबर को
जिले के 1112 उम्मीदवारों को 20 दिनों का लंबा इंतजार रहेगा

* हाईकोर्ट का बडा निर्णय
* नगर पालिका और नगर पंचायत चुनाव
* अब 21 दिसंबर को एक साथ होगी काउंटिंग
* तीन सप्ताह स्ट्राँगरुम की करनी होगी पहरेदारी
नागपुर /दि.2 – नगर पालिका और नगर पंचायतों के आज हुए वोटिंग दौरान ही बंबई उच्च न्यायालय की नागपुर खंडपीठ ने मतगणना और चुनाव नतीजे घोषित किए जाने को लेकर बडा निर्णय घोषित किया है. जिसके अनुसार कल 3 दिसंबर को होनेवाली काउंटिंग स्थगित कर उसे भी रोके गए अन्य पालिका और नगर परिषदों के नगरसेवकों के चुनाव के साथ आगामी 21 दिसंबर को किए जाने की घोषणा आज कर दी. न्या. अनिल किलोर और न्या. व्यास की खंडपीठ में इस बारे में दायर अनेक याचिकाओं पर अर्जंट सुनवाई करते हुए चुनाव विभाग को निर्देश दिया कि, सभी नतीजे एक ही दिन घोषित किए जाए. यह भी कहा गया कि, 20 नगर परिषदों के चुनाव नतीजों पर असर हो सकता है, यह याचिकाकर्ता का युक्तिवाद कोर्ट द्वारा मान्य किए जाने की खबर प्रमुख मराठी समाचार चैनल ने दी है.
* 20 दिनों की लंबी प्रतीक्षा
नगर पालिका और पंचायतों के चुनाव आज 2 दिसंबर को संपन्न हो रहे हैं ऐसे में जिले के 11 नगराध्यक्ष पदों के 64 और 270 नगरसेवक पदों के 1048 उम्मीदवारों को 20 दिनों की प्रतीक्षा करनी पडेगी. उधर चुनाव प्रशासन को भी विभिन्न तहसीलों और आईटीआई तथा अन्य जगहों पर निर्मित स्ट्राँगरुम की व्यवस्था 21 तारीख तक संभालनी पडेगी. उसी प्रकार ईवीएम में कैद जनादेश की रखवाली करनी पडेगी. निश्चित ही चुनाव आयोग की कवायद और खर्च बढनेवाला है. इधर उम्मीदवारों के लिए परिणाम जानने की उत्सुकता बनी रहेगी. उन्हें पखवाडे भर से अधिक पेशंस दिखाना होगा.
* जिले में 11 नगराध्यक्ष के चुनाव
अमरावती जिले में वरुड, मोर्शी, धारणी, नांदगांव खंडेश्वर, चांदुर रेलवे, चांदुर बाजार, दर्यापुर, चिखलदरा, अचलपुर, धामणगांव रेलवे में नगराध्यक्ष सहित परिषद और पंचायत के चुनाव हेतु वोटिंग आज संपन्न हुई. 11 नगराध्यक्ष के साथ 270 नगरसेवक चुने जाने है. फलस्वरुप 1112 उम्मीदवारों का भाग्य ईवीएम में कैद हो गया, अब नई तारीख के अनुसार 21 दिसंबर को यह फैसला मतगणना कर घोषित किया जाना है. सभी दलों के उम्मीदवारों ने हाईकोर्ट के फैसले की खबर पर नाखुशी मोटे तौर पर घोषित की है. उनका कहना है कि, 18 दिनों तक इंतजार करना पडेगा.
* याचिकाकर्ता ने दिए तर्क
उच्च न्यायालय में विभिन्न नगर परिषदों के उम्मीदवारों ने तीन याचिका दायर की थी. बाद में सोमवार शाम तक याचिका की संख्या बढती गई. उच्च न्यायालय की न्या. अनिल किलोर और न्या. रजनीश व्यास की खंडपीठ ने सभी याचिका की सुनवाई एक साथ की. याचिकाकर्ता की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता फिरदौस मिर्जा, एड. आनंद देशपांडे और अन्य ने पैरवी की. याचिकाकर्ता ने तर्क दिया कि, स्थगित चुनाव 20 दिसंबर को रखे गए हैं. ऐसे में 3 दिसंबर को घोषित होनेवाले परिणामों का असर स्थगित चुनाव पर भी हो सकता है. खबर है कि, खंडपीठ ने इसी दलील को मान्य कर कल होनेवाली मतगणना पर रोक लगाते हुए आगामी 21 दिसंबर को प्रदेश की सभी पालिका और पंचायतों के चुनाव नतीजे एक साथ घोषित करने का बडा फैसला सुनाया. जिसके बाद कई उम्मीदवारों की बाछें खिल गई. वहीं अनेक प्रत्याशी पखवाडे भर से अधिक इंतजार से खिन्न हो जाने का दावा समाचारों में किया जा रहा है.





