अमरावती प्रतिनिधि/दि.१९ – महाराष्ट्र राज्य विद्युत वितरण यानी महावितरण कंपनी द्वारा जारी वर्ष में किये जानेवाले तबादलों को लेकर विगत ७ अगस्त को अपनी नई नीति तय की है. जिसके तहत राज्य में विद्युत अभियंता संवर्ग के १००२ पदों को अनिवार्य तौर पर रिक्त रखने का निर्णय लिया गया है. साथ ही नई तबादला नीति में निवेदन पर होनेवाले तबादलों की संख्या को १५ प्रतिशत तक ही मर्यादित रखने की बात कही गयी है. इसके अलावा विभिन्न संवर्गों के जो पद रिक्त है, उन्हें आगे भी रिक्त रखने की ही नीति तय की गई है. इसके तहत मुख्य अभियंता, अधिक्षक अभियंता, कार्यकारी अभियंता तथा समकक्ष रिक्त पदों के संदर्भ में मुंबई मुख्यालय द्वारा निर्णय लिया जायेगा. वहीं अन्य कार्यकारी अभियंता तथा उनके अधिन रहनेवाले पदों के बारे में मुख्य कार्यालय द्वारा निर्णय नहीं लिया जायेगा, बल्कि प्रदेशांतर्गत पदों के बारे में निर्णय क्षेत्रीय संचालक द्वारा लिया जायेगा. महावितरण द्वारा जानकारी दी गई कि, इस समय राज्य में अभियंताओं के कुल १००२ पद रिक्त है. जिसमें मुख्य अभियंता के २, अधिक्षक अभियंता के ९, कार्यकारी अभियंता के २५, अतिरिक्त कार्यकारी अभियंता के ७४, उप कार्यकारी अभियंता के १००, सहायक अभियंता के ३२९ तथा कनिष्ठ अभियंता के ४६३ पदों का समावेश है. इन पदों को आनेवाले समय में भी रिक्त रखा जायेगा. जिसकी वजह से उपलब्ध अभियंताओं पर काम का बोझ बढना तय है और ग्राहकों को अखंडित सेवा देने में कुछ दिक्कतें भी आ सकती है. इसके अलावा १८ अगस्त को निर्मित किये गये ट्रान्सफॉर्मेशन टे्ननालॉजी तथा वित्त व मानव संसाधन संवर्ग के रिक्त पदों को भी फिलहाल नहीं भरने का निर्णय लिया गया है. इसके अलावा महावितरण द्वारा विभिन्न संवर्गों के कर्मचारियों की छंटनी करने का भी प्रयास किया जा रहा है, ऐसी जानकारी है. जिससे महावितरण अधिकारियों व कर्मचारियों में जबर्दस्त रोष व असंतोष की लहर देखी जा रही है.