सीईओ राठोड समेत 7 ने दाखिल की गिरफ्तारी पूर्व जमानत की अर्जी
जिला मध्यवर्ती बैंक का कमिशन घोटाला
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कोर्ट में केस पेपर नहीं पहुंचे, सुनवाई टली
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अब सुनवाई के लिए 29 जून की तारीख निश्चित
अमरावती/प्रतिनिधि दि.26 – जिले में किसानों की अपनी बैंक के रुप में पहचान रखने वाली स्थानीय जिला मध्यवर्ती सहकारी बैंक व्दारा म्युच्यूअल फंड में किये गए 700 करोड रुपए निवेश के मामले में 3 करोड 39 लाख 23 हजार 319 रुपयों का ब्रेकरेज दिया गया. इस मामले में मंगलवार 15 जून को सिटी कोतवाली पुलिस थाने में बैंक के तत्कालीन व्यवस्थापक जयसिंग राठोड समेत बैंक के कर्मचारी व ब्रोकर समेत कुल 11 लोगों के खिलाफ विभिन्न धाराओं के तहत अपराध दर्ज किये गए है. इस मामले में आरोपी बनाए गए बैंक के तत्कालीन व्यवस्थापक जयसिंग राठोड समेत राजेंद्र गणेराव कडू तथा ब्रोकर अजितपाल हरिसिंग मोंगा, राजेंद्र मोतीलाल गांधी, निता राजेंद्र गांधी, पुरुषोत्तम रेड्डी व शिवकुमार गोकुलदास गट्टाणी आदि ने स्थानीय जिला व सत्र न्यायालय में गिरफ्तारी पूर्व जमानत की अर्जी दाखल की है. आज न्यायाधिश अग्रवाल की अदालत में यह मामला सुनवाई के रखा गया है, लेकिन इस मामले की जांच कर रही आर्थिक अपराध शाखा की ओर से मामले के केस पेपर अभी तक न्यायालय में दाखिल न किये जाने के कारण आज इस मामले पर न्यायालय में सुनवाई नहीं हो पायी. न्यायालय ने सुनवाई के लिए मंगलवार 29 जून की तारीख मुकर्रर की है. न्यायालय में सरकार की ओर से जिला सरकारी वकील एड.परीक्षित गणोरकर पक्ष रख रहे है.
उल्लेखनीय है कि 18 फरवरी 2021 को बैंक के संचालक मंडल का कार्यकाल खत्म होने के चलते सहकार आयुक्त ने बैंक के संचालक मंडल को बर्खास्त कर यहां पर प्रशासक की नियुक्ति की गई थी. सबसे पहले सहकार विभाग के सतीश भोसले बतौर प्रशासक नियुक्त किये गए थे. जिन्होंने अपने कार्यकाल में बैंक व्दारा किये गए निवेश का ऑडिट करने के बाद इसमें आरबीआई और नाबार्ड के नियम व शर्तों का उल्लंघन होने की बात पायी जाने से कोतवाली पुलिस थाने में एफआईआर दर्ज किया था, लेकिन उसके बाद सतीश भोसले ने कार्यमुक्त करने की अपील सहकार आयुक्त से करने के बाद उनके स्थान पर नियुक्त प्रशासक संदीप जाधव ने कोतवाली पुलिस थाने में विस्तृत एफआईआर दर्ज किया था. इस शिकायत के आधार पर 15 जून को बैंक के तत्कालीन मैनेजिंग डायरेक्टर जयसिंग चिमनाजी राठोड, कर्मचारी निलकंठ बी.जगताप, सुधीर चांदुरकर, राजेंद्र गणेशरव कडू, रोहिणी सुभाष चौधरी तथा शेअर व म्युच्यूअल फंड ब्रोकर अजितपाल हरिसिंग मोंगा, निता राजेंद्र गांधी, पुरुषोत्तम रेड्डी, शोभा मधुसुदन शर्मा, शिवकुमार गोकुलदास गट्टाणी व राजेंद्र मोतीलाल गांधी के खिलाफ दफा 407, 409, 420, 467, 468, 471 व 120 (ब)के तहत अपराध दर्ज किया था. फिलहाल इस मामले की जांच आर्थिक अपराध शाखा के पीआई शिवाजी बचाटे कर रहे है.