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अंबादेवी मंदिर जीर्णोध्दार का भूमिपूजन जीवन की सबसे अनमोल घडी

मनपा प्रशासक प्रशांत आष्टीकर का प्रतिपादन

* भव्य-दिव्य देवालय का शिलान्यास
अमरावती/दि.30-अंबा माता की कोई बडी कृपा मुझ पर हुई है. इसीलिए आज मंदिर जीर्णोध्दार का शतकों में एक बार होनेवाला भूमिपूजन का सौभाग्य प्राप्त हुआ है. यह क्षण जीवन भर स्मृति में अमिट रहेगा. मेरे जीवन की यह सबसे अनमोल पूंजी है. इस आशय के विचार मनपा प्रशासक, आयुक्त डॉ. प्रवीण आष्टीकर ने आज अत्यंत अभिभूत होेते हुए व्यक्त किए. वे श्री अंबादेवी संस्थान द्बारा आयोजित जीर्णोध्दार भूमिपूजन कर रहे थे. मंदिर के मुख्य प्रवेशद्बार के सम्मुख हुए भूमिपूजन समारोह की अध्यक्षता संस्थान अध्यक्षा विद्याताई देशपांडे ने की. मंच पर संस्थान के उपाध्यक्ष आनंद पलसोदकर, सचिव एड. दीपक श्रीमाली, रविंद्र करवे, कोषाध्यक्ष मीनाताई पाठक, सौ. बबीता आष्टीकर विराजमान रहे.
* दिए 21 हजार रूपए
डॉ. आष्टीकर ने कहा कि मंदिर के नवनिर्माण के लिए वे अपने शेष कार्यकाल में भी सभी प्रकार की यथोचित मदद करेंगे. मंदिर के दो बडे उपक्रम भी हो सका तो उनके कार्यकाल मेें हो जायेंगे, ऐसी उन्हेें आशा है. डॉ. आष्टीकर ने संस्थान पदाधिकारियों द्बारा उन्हेें भूमिपूजन के लिए आमंत्रित करने के प्रति विनम्र आभार भी व्यक्त किया और कहा कि मनपा से जो यथोचित सहयोग अंबा और एकवीरा संस्थान को अपेक्षित है. वह अवश्य करेंगे. डॉ. आष्टीकर ने मंदिर नवनिर्माण के लिए आष्टीकर परिवार की तरफ से 21 हजार रूपए देने की घोषणा की. उनकी घोषणा का करतल ध्वनि से स्वागत हुआ.
* अस्पताल का भूमिपूजन भी शीघ्र-देशपांडे
अध्यक्षा विद्याताई देशपांडे ने कहा कि मनपा और शासन-प्रशासन की तरफ से प्राप्त सहयोग और भक्तों के अविरत योगदान के कारण मंदिर बडा ही भव्य-दिव्य होनेवाला है. उन्होंने अल्पावधि में मंदिर निर्माण संबंधी सभी अनुमति और एनओसी समय पर उपलब्ध करवाने निगमायुक्त डॉ.आष्टीकर के सहयोग का विशेष उल्लेख किया. ज्ञातव्य है कि श्रीमती देशपांडे अंबादेवी संस्थान की पहली महिला अध्यक्षा है. उन्होंने संस्थान के और दो बडे उपक्रम का जिक्र किया. उन्होंने कहा कि अस्पताल का निर्माण किया जाना है. उसका भी शीघ्र भूमिपूजन संस्थान द्बारा रखे जाने की कोशिश है. वह भूमिपूजन भी डॉ. आष्टीकर की उपस्थिति में होने का मानस उन्होंने व्यक्त किया.
* 10 प्रतिशत चढावा गरीबों के उपचार पर
संस्थान के सचिव रविंद्र कर्वे ने प्रस्तावना रखी. विविध बाधाओं का उल्लेख किया. कर्वे ने मंदिर के समजोपयोगी उपक्रमों की जानकारी दी. उन्होंने अंबादेवी अस्पताल में रोज 200 मरीजोें की अत्यल्प शुल्क में जांच होेने की जानकारी देते हुए बताया कि बीपीएल नागरिको को संस्थान चढावा की 10 प्रतिशत राशि से बडी बीमारियों ने उपचार के लिए यथासंभव मददकर्ता आया है.
* मंदिर हेतु 10 करोड उपलब्ध
वहीं दूसरे सचिव एड. श्रीमाली ने बताया कि कलेक्टर अभिजीत बांगर से लेकर सहायक जिलाधिकारी रिचर्ड यानथन के सहकार्य के कारण संस्थान ने नानाविध दिक्कतेें दूर कर ली. जिससे नवनिर्माण का मार्ग प्रशस्त हुआ और रामनवमी के शुभ अवसर पर भूमिपूजन संभव हुआ है. एड. श्रीमाली ने बताया कि संस्थान के पास भव्य दिव्य मंदिर निर्माण के लिए 10 करोड रूपए उपलब्ध है. लगभग 25 करोड की लागत अपेक्षित है. भाविक सतत मदद कर रहे हैं. हर सप्ताह भाविक दानपेटी में लगभग 1.5 लाख का चढावा अर्पित कर रहे हैं. ऐसे ही देवी के चरणों मेें अर्पित नारियल व कपडों से भी आमदनी संस्थान को प्राप्त हो रही है. जिससे यह भव्य वास्तु शीघ्रता से साकार होने का विश्वास उन्होंने व्यक्त किया.
* आलसी दंपत्ति ने किया अनुष्ठान
जीर्णोध्दार भूमिपूजन कार्यक्रम में पूजा पाठ, अनुष्ठान संस्थान के पदाधिकारी अतुल आलसी और उनकी पत्नी सौ. अनुराधा आलसी ने किया पौराहित्य पं. योगेश जोशी, प. विनोद जोशी, पं. गोवर्धन पुराणिक, पं. मिलिंद देवघरे, कुमार महाराज ने किया. मंत्रोच्चार से परिसर का वातावरण बडा ही सुंदर और शाश्वत हो गया था. कुशल संचालन एड. राजेंद्र पांडे ने तथा आभार प्रदर्शन विलास मराठे ने किया. विधिवत पूजा के बाद डॉ. आष्टीकर और मान्यवरों ने कुदाली मारकर भूमिपूजन किया. ऐसे ही भूमिपूजन शिला का अनावरण भी अंबामाता के जयघोष के बीच किया गया. पंडाल के स्तंभ केले के पत्तों से सजाए गये थे. सभी के लिए प्रसादी का प्रबंध था.
* मान्यवरों की उपस्थिति
समारोह मेें सर्वश्री अशोक खंडेलवाल, सुरेंद्र बुरंगे, डॉ. जयंत पांढरीकर, पूर्व महापौर चेतन गावंडे, पूर्व सभापति तुषार भारतीय बाजीराव मालवनकर, जगदीश अनासाने, भाजपा शहराध्यक्ष किरण पातुरकर, श्याम काले, अजय पिंपलगांवकर, प्रभाकर चकुले, लक्ष्मीकांत खंडेलवाल, राजू उर्फ उमाशंकर रायकवार, ओम बाबू नावंदर, कन्नूसेठ गोयल, संजय गुप्ता, विनोद पांचाल, नितीन कोल्हे, श्री चिमोटे, मोना चिमोटे, प्रा. काले, किशोर बेंद्रे, विजया गुढे, दीपा खांडेकर सहित मान्यवर उपस्थित थे. प्रा. मुकेश लोहिया, बाजीराव मालवनकर और जगदीश अनासाने ने 21-21 हजार रूपए मंदिर नवनिर्माण हेतु देने की घोषणा की.

 

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