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बुकी मालामाल, सटोरिए कंगाल

फाइनल ने कर दिया लगाएवाल को रनआउट

* क्रिकेट विश्वकप का सटोरियों के लिए भी दुखांत
* अमरावती से लेकर अमीरात तक यही स्टोरी
अमरावती/दि.20– क्रिकेट विश्वकप के अंतिम मुकाबले में आस्ट्रेलिया ने बाजी मार ली. टीम इंडिया के साथ 100 करोड भारतीय क्रिकेट प्रेमियों की तीसरी बार विश्वकप जीतने की आशाएं चकनाचूर हो गई. मगर सट्टे की बात करे तो, डेढ माह के टूर्नामेंट में भारी चढ-उतार के बाद बुकियों ने एक ही दिन में इतना कमा लिया जितना टूर्नामेंट के 47 मुकाबलों में खोया था. विशेषकर भारतीय दल ने लीग उपरांत सेमी में बुकियों के 12 बजा रखे थे. वह भरपाई और उससे उपर कई गुना कमाई 19 नवंबर की रात बुकियों की हो गई. लगाईवाल की दशा ऐसी हो गई जैसे बगैर गेंद का सामना करे दूसरे छोर का बल्लेबाज रनआउट हो जाता है.
* 13वें वर्ल्डकप का फाइनल
अहमदाबाद के नरेंद्र मोदी स्टेडियम पर रविवार को भारत तथा आस्ट्रेलिया के बीच क्रिकेट वर्ल्डकप का अंतिम मुकाबला खेला जा रहा था. खिताबी भिंडत थी. इसलिए अमरावती से लेकर अमिरात तक बल्कि दुनियाभर में सटोरिए भी सक्रिय रहे. टॉस आस्ट्रेलिया ने जीता. पहले गेंदबाजी का निर्णय किया. इस स्टेडियम पर अभी तक का रिकॉर्ड देखते हुए आस्ट्रेलिया के कप्तान कमिंस के निर्णय पर सभी अचरज जता रहे थे. आखिर क्या गणित था कि पैट कमिंस ने फिल्डिंग चुनी. जबकि मोटेरा की पीच पर पहले बल्लेबाजी करनेवाली टीमें विजयी रहने का आंकडा अधिक था.
* शुरुआत में भाव कैसे थे
सटोरियों ने डेढ माह के टूर्नामेंट के लिए पहले से ही तैयारी कर रखी थी. टूर्नामेंट की शुरुआत में आस्ट्रेलिया का कप जीतने पर 10 रुपए का भाव बोला जा रहा था, जबकि टीम इंडिया का 3 रुपए, दक्षिण आफ्रिका का 4 रुपए, न्यूजीलैंड का 9 रुपए. यह चारों टीमें सेमिफाइनल में पहुंची भी. सटोरियों को उस समय यह भी आशा थी कि फाइनल मुकाबला भारत और आफ्रिका के बीच खेला जाएगा. किंतु अनेक जानकारों के बोल उलटे पड गए. टूर्नामेंट में कई बार उलटफेर भी हुए.
* बल्लेबाजों के भरोसे फाइनल में
आस्ट्रेलिया की टीम बल्लेबाजों के भरोसे फाइनल में पहुंची थी. फिर भी रविवार को अधिकांश लगाएवाल भारत का फेवर कर रहे थे. सट्टाबाजार को पूर्ण रुप से विश्वास था कि यह मैच भारत जीतेगा. पैट कमिस व्दारा भारत को बैटिंग करने का न्यौता देने पर इंडिया का भाव 35 पैसे था. आस्ट्रेलिया का 2 रुपए 75 पैसे चल रहा था. बडे प्रमाण में सट्टा खेला गया. बडे बुकियों के पास इंडिया के फेवर में सौदे हुए. भारतीय कप्तान रोहित शर्मा ने तेज तर्रार 47 रन कूटे तो, लगानेवालों का विश्वास था कि भारत 300 के आसपास स्कौर कर लेगा. 8 ओवर में 80 रन बनाने वाले भारत ने अगले 42 ओवर में केवल 160 रन बनाए. फिर भी सटोरिए इस आशा में थे कि मैच अपने इनफार्म गेंद्रबाजों के भरोसे भारत जीत लेगा. छोटे से लेकर बडे सटोरियोें ने 45-55 पैसे में जमकर लगाएवाडी की. आस्ट्रेलिया के 47 रनों पर 3 विकेट उखड गए तो, उसका भाव एक समय 7 रुपए तक हो जाने की जानकारी सूत्रों ने दी. जबकि भारत के रेट 45 पैसे पर कायम रहे.
* हेड ने पलटा मैच
तीन टॉपमोस्ट बल्लेबाजों के सस्ते में आउट होने पर भी हेड और लाबूशेन ने डटे रहते हुए स्कौर 200 तक पहुंचा दिया. अभी भी लगाएवाल कुछ चमत्कार की आशा में थे. किंतु रविवार शाम कोई करिष्मा कोई कमाल नहीं हुआ. भारत छह विकेट से मैच और कप हार गया. सब सट्टा आईडी वगैरह सब खाली हो गए. हर बॉल, बल्लेबाज के 15 रन, 20 रन जैसे सौदे भी फेल रहे. आम सटोरिए ढेर हो गए. बुकी मालामाल हो जाने का दावा कुछ लोग कर रहे हैं. यह भी बता रहे हैं कि पूरे टूर्नामेंट में इंडिया पर दाव लगानेवाले बुकियों ने पैसा हारा था. क्योंकि रोहित शर्मा के नेतृत्व वाला विराट कोहली, अय्यर, राहुल, गिल का दल सतत जीत रहा था. किंतु फाइनल में भारत की हार से बुकियों की बल्ले-बल्ले हो गई. आम सटोरिए मायूस हो गए.
* कमिंस का पैंतरा सफल
कप्तान कमिंस ने फाइनल मुकाबले से पूर्व भारतीय टीम को संकेत दिए थे. उसका दांव भारत समझ नहीं पाया. कमिंस ने कहा था कि मोटेरा की पीच लो रह सकती है. छोटे कटर और धीमे बाउंसर करेंगे. भारत के तीनों गेंदबाज गति पर कायम रहे. मैच के बीच में जब मेहमान टीम के तीन धुरंधर पवेलियन लौट गए थे तब भारत के भाव 20-22 पैसे तक आ गए थे. आखिर तक बुकियों ने सटोरियों को चार बार उलझाए रखा. अंत में जीत आस्ट्रेलिया की हुई और पूरी दुनिया की तरह भारत के भी सटोरिए डूब गए.

 

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