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शिवसेना की लडाई में फंसे विधायक भोंडेकर

एक दस्तखत ने उलझाया

भंडारा/दि.15– यहां के विधायक नरेंद्र भोंडेकर व्दारा मविआ सरकार स्थापना के समय ठाकरे गट को सहयोगी सदस्य के रुप में समर्थन देते हुए कागजात पर दस्तखत करना भारी पडा है. शिवसेना में विभाजन होने से उन्हें विधानसभा अध्यक्ष के सामने वकील के साथ पेश होना पडा. ऐसे ही मामले में प्रहार के बच्चू कडू तथा उनके साथी राजकुमार पटेल छूट गए. क्योंकि कडू और पटेल ने समर्थन दिया. किंतु अपने प्रहार पक्ष की पहचान कायम रखी. जिससे कडू ने विधानसभा अध्यक्ष व्दारा उन्हें इस मामले में बुलाए जाने पर खिल्ली उडाई है.
शिवसेना दो फाड हो गई. ऐसे में एकनाथ शिंदे सहित 16 विधायकों को अपात्र ठहराने की याचिका ठाकरे गुट ने दायर की. जिस पर विधानसभा स्पीकर नार्वेकर ने गुरुवार से सुनवाई आरंभ की. अगली तारीख 20 सितंबर दी गई है. बहरहाल भंडारा के विधायक भोंडेकर गुरुवार को 17 नंबर पर उपस्थित हुए. उन्हें ढाई घंटे तक प्रतीक्षा करनी पडी. निर्दलीय विधायक रहते हुए भी ठाकरे सरकार को समर्थन के एक कागज पर उन्होंने हस्ताक्षर किए थे. इसलिए उन्हें सहयोगी सदस्य बताया गया था. उस पर खुलासा देने विधायक भोंडेकर को सप्ताहभर का समय दिया गया है.

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