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संभाग में 27 बांधों के दरवाजे खुले

बडे पैमाने पर हो रही जलनिकासी

  • लगातार होती बारिश से सभी बांध हो चुके लबालब

अमरावती/प्रतिनिधि दि.28 – बीते 24 घंटों से चहुंओर हो रही झमाझम बारिश की वजह से अमरावती जिले सहित संभाग के सभी बडे व मध्यम प्रकल्प लगभग पूरी तरह भरकर लबालब हो चुके है. ऐसे में बांधों में लगातार हो रही पानी की आवक को देखते हुए संभाग के 27 बडे व मध्यम प्रकल्पों के दरवाजों को खोलकर बडे पैमाने पर जलनिकासी की जा रही है. जिसकी वजह से बांधों से निकलनेवाली नदियों व नहरों में बाढ आयी हुई है और सभी नदी-नाले इस समय अपने पूरे उफान पर है.
इस संदर्भ में प्रशासन द्वारा दी गई जानकारी के मुताबिक 564.05 दलघमी की जलसंग्रहण क्षमतावाले अमरावती जिले के एकमात्र व सबसे बडे अप्परवर्धा बांध में इस समय 555.73 यानी 98.52 फीसद जलसंग्रहण हो चुका है और बांध में पानी का स्तर 342.41 मीटर तक पहुंच गया है. ऐसे में इस बांध के तीन दरवाजों को 40 सेमी तक खोलते हुए प्रति सेकंड 198 घनमीटर पानी वर्धा नदी में छोडा जा रहा है. वहीं जिले के शहानूर मध्यम प्रकल्प में इस समय 45.28 दलघमी यानी 98.35 फीसद जलसंग्रहण हो जाने के चलते इस बांध के चार दरवाजों को 10 सेमी तक खोलते हुए प्रति सेकंड 36.08 घनमीटर पानी नदी में छोडा जा रहा है. साथ ही चंद्रभागा मध्यम प्रकल्प में इस समय 39.08 दलघमी यानी 94.74 फीसद जलसंग्रहण हो चुका है. यहां के तीन दरवाजों को 5 सेमी तक खोलते हुए 17.25 घनमीटर पानी प्रति सेकंड नदी में छोडा जा रहा है. इसके अलावा पूर्णा प्रकल्प में 32.14 दलघमी यानी 90.87 फीसद जलसंग्रहण हो चुका है और पानी के लगातार बढते जलस्तर को देखते हुए इस बांध के दो दरवाजों को 5 सेमी खोलते हुए नदी में प्रति सेकंड 8.76 घनमीटर पानी छोडा जा रहा है. इसके साथ ही सापन प्रकल्प में 36.68 दलघमी यानी 95.03 फीसद जलसंग्रहण हो चुका है और इस बांध के तीन दरवाजों को पांच सेमी तक खुला रखते हुए नदी में प्रति सेकंड 8.75 घनमीटर पानी छोडा जा रहा है.
इसके साथ ही संभाग के अन्य चारों जिलों में स्थित बडे व मध्यम प्रकल्पों में लगातार बढते जलस्तर को देखते हुए कई बांधों से बडे पैमाने पर जलनिकासी की जा रही है. जिसके तहत यवतमाल जिले के अरूणावती प्रकल्प के 7 दरवाजों को 20 सेमी खोलते हुए प्रति सेकंड 161 घनमीटर पानी छोडा जा रहा है. साथ ही बेंबला प्रकल्प के चार दरवाजों को 50 सेमी खोलते हुए प्रति सेकंड 200 घनमीटर पानी की निकासी की जा रही है. इसके अलावा पूस प्रकल्प से भी नदी में प्रति सेकंड 57.97 घनमीटर पानी की निकासी की जा रही है. साथ ही बुलडाणा जिले के खडकपूर्णा प्रकल्प के 11 दरवाजों को 50 सेमी तक खुला रखते हुए 1073.50 घनमीटर पानी नदी में छोडा जा रहा है. इसके अलावा यवतमाल जिले के अधरपूस, सायखेडा, गोकी, वाघाडी, बोरगांव, नवरगांव, अकोला जिले के निर्गूणा, मोर्णा, उमा, वाशिम जिले के अडाण, सोनल, एकबुर्जी तथा बुलडाणा जिले के ज्ञानगंगा, पलईद, कोराडी, मन व उतावली मध्यम प्रकल्पों से भी बडे पैमाने पर जलनिकासी की जा रही है.
संभाग के 9 बडे प्रकल्पों की औसत जलसंग्रहण क्षमता 1399.91 दलघमी है. तथा इस समय सभी बांधों में औसत 1333.38 दलघमी यानी 95.25 फीसद जलसंग्रहण है. वहीं जिले के 25 मध्यम प्रकल्पों में 656.99 दलघमी यानी 89.61 फीसद तथा 447 लघु प्रकल्पों में 933.61 दलघमी यानी 81.15 फीसद जलसंग्रहण हो चुका है. साथ ही सभी बांधों में नदियों से होकर पानी की जबर्दस्त आवक भी हो रही है. जिसके चलते जलस्तर को नियंत्रित रखने हेतु अधिकांश बांधों से नदियों में पानी छोडा जा रहा है. जिसके चलते इस समय सभी नदी-नाले पूरे उफान पर है और आसमान से लेकर जमीन पर हर ओर पानी ही पानी है.

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