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रेलवे ने की अमरावती की फिर अनदेखी

  •  एलटीटी-कामाख्या साप्ताहिक ट्रेन को बडनेरा स्टॉपेज नहीं

  •  26 दिसंबर से शुरू होने जा रही है विशेष ट्रेन

  •  पडोसी जिले अकोला को मिला है स्टॉपेज

अमरावती/प्रतिनिधि दि.१७ – कुछ समय पूर्व अमरावती जिला देश के रेलवे नक्शे पर बडी तेजी से उभर रहा था. और यहां पर मॉडल रेल्वे स्टेशन से मुंबई, नागपुर, जबलपुर, पुणे, सूरत व तिरूपति के लिए रेलगाडियां शुरू होने के साथ ही नया अमरावती रेलवे स्टेशन से नरखेड रेलवे लाईन होकर गुजरनेवाली ट्रेनोें के जरिये देश के उत्तरी व दक्षिणी हिस्सों के बीच कनेक्टीविटी उपलब्ध हुई थी. वहीं मुंबई-हावडा रेल लाईन पर स्थित बडनेरा रेलवे स्टेशन को जंक्शन का दर्जा प्राप्त है. जहां पर सभी प्रमुख रेलगाडियों को स्टॉपेज दिया गया है. लेकिन अब शायद धीरे-धीरे भारतीय रेल द्वारा अमरावती एवं बडनेरा की अनदेखी करनी शुरू कर दी गई है. यहीं वजह है कि, कोरोना काल के चलते विगत लंबे समय से बंद पडी अमरावती-मुंबई ट्रेन अब तक शुरू नहीं हो पायी है. वहीं अमरावती-जबलपुर ट्रेन को अब केवल नागपुर से जबलपुर के बीच चलाया जा रहा है. इसके अलावा ताजा मामला आगामी 26 दिसंबर से शुरू होने जा रही मुंबई-कामाख्या (गुवाहाटी) विशेष ट्रेन को लेकर है. सप्ताह में एक बार चलायी जानेवाली इस विशेष ट्रेन को पडोसी जिले में अकोला में तो स्टॉपेज दिया गया है, लेकिन जंक्शन का दर्जा रहनेवाले बडनेरा रेल्वे स्टेशन की इस ट्रेन के लिए अनदेखी की गई है.
बता दें कि, रेल महकमे द्वारा आगामी 26 दिसंबर से मुंबई व कामाख्या के बीच सप्ताह में एक बार विशेष ट्रेन चलायी जायेगी. जिसके तहत गाडी संख्या 02256 अप प्रत्येक शनिवार की शाम 7.12 बजे कामाख्या स्टेशन से रवाना होगी और तीसरे दिन रात 9.30 बजे लोकमान्य तिलक टर्मिनस पहुचेंगी. यह ट्रेन रविवार की सुबह 8 बजे नागपुर व अपरान्ह 12.17 बजे अकोला रेल्वे स्टेशन पर आयेगी. इसी तरह गाडी संख्या 02255 डाउन 29 दिसंबर से प्रत्येक मंगलवार को मुंबई के लोकमान्य तिलक टर्मिनस से अपरान्ह 1.15 बजे रवाना होगी और 7.35 बजे भुसावल, 9.32 बजे अकोला तथा रात 1.20 बजे नागपुर स्टेशन पर स्टॉपेज लेते हुए तीसरे दिन 3.25 बजे कामाख्या पहुचेंगी.
लेकिन इस ट्रेन का अमरावती जिले को कोई फायदा नहीं होनेवाला. क्योेंकि यह ट्रेन बडनेरा रेल्वे स्टेशन से धडधडाते हुए गुजर जायेगी. ऐसे में सबसे बडा सवाल यह है कि, आखिर लंबी दूरीवाली इस ट्रेन को बडनेरा जैसे महत्वपूर्ण रेल्वे स्टेशन पर स्टॉपेज क्यों नहीं दिया गया, जबकि 10 लाख की आबादीवाले अमरावती शहर और 28 लाख की आबादीवाले अमरावती जिले से रेल महकमे को दोनों ओर के लिए अच्छीखासी यात्री संख्या मिल सकती है. सवाल यह भी पूछा जा सकता है कि, आखिर एक के बाद एक हर बार अमरावती की रेल मंत्रालय द्वारा अनदेखी क्यों की जा रही है, और इस अनदेखी के खिलाफ जिले के जनप्रतिनिधियों सहित यात्री संघ पदाधिकारियों द्वारा कोई आवाज क्योें नहीं उठायी जा रही.

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