राकांपा में दो गट नहीं, झगडा भी नहीं
शरद पवार का चुनाव आयोग को उत्तर
* सियासत में बढी उत्सुकता
दिल्ली/दि.7- महीने भर पहले अजीत पवार के नेतृत्व में राकांपा के विभाजन पश्चात अब सर्वेसर्वा शरद पवार के चुनाव आयोग को दिए गए उत्तर से सियासत में कौतुहल बढ गया है. माना जा रहा है कि बडे पवार के उत्तर से पार्टी में जारी संभ्रम बढ सकता है. पवार गुट व्दारा चुनाव आयोग को पत्र भेजा गया है. जिसमें उन्होंने कहा कि राकांपा की चुनाव निशानी घडी पर अजीत पवार का दावा दुर्भाग्यपूर्ण है. चुनाव आयोग यह मांग ठूकरा दें.
पवार गट की तरफ से तर्क दिया गया कि अजीत पवार की याचिका में राकांपा के दो धडे हो जाने का कोई सबूत नहीं है. पार्टी में विवाद होने की बात भी सिद्ध करने में अजीत पवार सक्षम नहीं है. चुनाव आयोग ने भी प्राथमिक रुप से राकांपा के अध्यक्ष शरद पवार के नेतृत्व वाले गट और अजीत पवार के गट में विवाद सिद्ध नहीं हो ने की बात कही है. अजीत पवार ने 1 जुलाई के पहले बडे पवार अथवा राकांपा के खिलाफ कोई शिकायत नहीं दी थी. उसी प्रकार अजीत ने शरदराव का पार्टी की किसी बैठक में विरोध करने का भी युक्तिवाद शरद गुट ने किया है.
इस बीच एकनाथ शिंदे के नेतृत्व वाले शिवसेना की तरह अजीत पवार व्दारा राकांपा पर दावा किया जा रहा है. अधिकांश विधायक अजीत पवार खेमे में है. इसलिए अजीत गुट ने चुनाव आयोग को पत्र भेजकर पार्टी का नाम और घडी निशानी के लिए पत्र भेजा था. पत्र में दावा किया गया था कि 30 जून को हुई बैठक में अजीत पवार को राकांपा प्रमुख चुना गया. जिस पर अधिकांश सदस्यों की बहुमत से सही है. इस बीच चर्चा है कि दोनों गटों शरद और अजीत पवार के बीच समझौता होने वाला है.