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‘उस’ रैली में नहीं था पाकिस्तान का झंडा

फेक फोटों किये गये थे सोशल मीडिया पर वायरल

* शहर में दंगा फसाद भडकाने की हुई थी साजिश
* मुस्लिम प्रतिनिधियों ने सीपी रेड्डी से मिलकर बताई असलियत
अमरावती/दि.7 – विगत 4 जून की शाम अमरावती संसदीय क्षेत्र में कांग्रेस प्रत्याशी बलवंत वानखडे की जीत का जश्न मनाने हेतु निकाली गई रैली के दौरान कुछ लोगों द्वारा राजकमल चौराहे पर पाकिस्तानी झंडा फहराये जाने की खबर सोशल मीडिया पर बडी तेजी के साथ वायरल हुई थी तथा इसे लेकर एक वीडियो का स्क्रीन शॉट भी पोस्ट किया जा रहा था. लेकिन उस जश्न के ओरिजनल वीडियो फूटेज में कोई भी व्यक्ति पाकिस्तानी झंडा लहराता हुआ दिखाई नहीं दे रहा है. उसका सीधा मतलब है कि, वीडियो की एक फ्रेम को फ्रिज करते हुए उसमेें पाकिस्तानी झंडे को किसी व्यक्ति ने जानबूझकर एडिट करते हुए दर्शाया है, ताकि उस फोटो के जरिए रैली में शामिल लोगों के खिलाफ गलतफहमी फैलाई जा सके और जनभावनाओं को भडकाया जा सके, अत: शांतिपूर्ण रहने वाले अमरावती शहर में दंगा व फसाद भडकाने की साजिश करने वाले लोगों को खोज निकाला जाये और उनके खिलाफ कडी कार्रवाई की जाये. इस आशय की मांग मुस्लिम समाज के प्रतिनिधियों ने आज शहर पुलिस आयुक्त नवीनचंद्र रेड्डी से मिलकर उठाई.
मुस्लिम समाज के प्रतिनिधि मंडल का कहना रहा कि, 4 जून को चुनावी नतीजा घोषित होने के बाद कांग्रेस प्रत्याशी बलवंत वानखडे के विजयी जुलूस में बडी संख्या में मुस्लिम समाजबंधु शामिल हुए थे. जिन्होंने राजकमल चौक पर ढोल-ताशे के बीच पीला गुलाल यानि अबीर उडाते हुए अपने प्रत्याशी की जीत का जश्न मनाया था. इस दौरान भीड में शामिल कई युवक भारतीय राष्ट्रीय ध्वज तिरंगा झंडा सहित पंजा निशानवाला कांग्रेसी झंडा लहरा रहे थे और जीत का जश्न मनाने के बाद सभी लोग वहां से अपने-अपने रास्ते चले गये. जिसके बाद राजकमल चौराहें पर कुछ युवकों द्वारा किये गये हुडदंग का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हुआ. जिसका निषेध करते हुए कांग्रेस नेता व पूर्व विधायक डॉ. सुनील देशमुख ने फेसबुक पर अपना एक वीडियो पोस्ट किया. जिसके कमेेंट्स बॉक्स में एक व्यक्ति ने राजकमल चौक पर हुए जश्न के दौरान पाकिस्तानी झंडा फहराये जाने का दावा करते हुए उस जश्न से संबंधित एक फोटो भी शेअर किया. जिसे सोशल मीडिया पर अन्य लोग भी धडाधड शेअर करने लगे और पूरे शहर में यह संदेश फैलने लगा कि, राजकमल चौक के जश्न में शामिल किसी व्यक्ति ने पाकिस्तानी झंडा फहराया था. यह बात पता चलते ही रैली में शामिल लोग हैरत में पड गये. क्योंकि उस रैली में ऐसा कुछ भी नहीं हुआ था. जिसके चलते रैली में शामिल जिम्मेदारों ने उस रैली के तमाम असली फोटोज व वीडियोज को खंगालना शुरु किया. लेकिन किसी भी फोटो या वीडियो में कोई पाकिस्तानी झंडा दिखाई नहीं दिया. जिसका सीधा मतलब है कि, किसी ने जानबूझकर उस रैली के वीडियो को पॉज करते हुए उसकी एक फ्रेज को एडिट किया और उसमें पाकिस्तानी झंडे का फोटो चिपका दिया, ताकि रैली में शामिल लोगों को लेकर समाज में गलतफहमी फैलाई जा सके और लोगों की भावनाओं को उकसाया जा सके. अत: इस पूरे मामले की सघन जांच होनी चाहिए. इस आशय की मांग सीपी रेड्डी को सौंपे गये ज्ञापन में की गई.
ज्ञापन सौंपते समय शहर के वरिष्ठ विधिज्ञ एड. शोएब खान, कांग्रेस के प्रदेश सचिव आसीफ तवक्कल, डॉ. असलम भारती, एमआईएम के शहर सचिव अब्दुल हमीद, इसरार आलम, कांग्रेस अल्पसंख्यक सेल के जिलाध्यक्ष मुकद्दर खान पठान, राकांपा पदाधिकारी हाजी रफीक, मुस्लिम लीग के शहर अध्यक्ष इमरान अशरफी, सै. आसीफ, रिजवान कुरैशी, नदीम अहमद, परवेज घोरी, युसुफ खान मौैलाना, फिरोज शाह, शेख रिजवान सहित मुस्लिम समाज के अन्य पदाधिकारी उपस्थित थे.

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