आरटीपीसीआर न करते ही यात्रियों का रेलवे में सफर
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पुणे, नाशिक से आने वाले यात्री मिल रहे संक्रमित
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बडनेरा रेलवे स्टेशन पर चेकिंग, फिर भी चकमा देते है यात्री
अमरावती/प्रतिनिधि दि.29 – अमरावती समेत महाराष्ट्र व देशभर में कोरोना का संक्रमण तेजी से बढ रहा है. हर रोज लाखों मरीज पॉजिटीव आ रहे है. इस कारण रेलवे से सफर करने वाले यात्रियों को भी संक्रमण का धोखा ध्यान में रखते हुए महाराष्ट्र सरकार के निर्देशों के अनुसार रेलवे का सफर शुरु करने से पहले आरटीपीसीआर टेस्ट बंधनकारक की गई है. विशेषकर गोवा, गुजरात, राजस्थान, दिल्ली, उत्तराखंड व केरल राज्य से आने वाले गाडियों के यात्रियों के लिए यह टेस्ट बंधनकारक की गई है. किंतु आज भी राज्य के विविध हिस्सों से आने वाले अनेकों यात्री आरटीपीसीआर टेस्ट न करते हुए शहर मे दाखिल हो रहे हेै, इस तरह की बात निदर्शन में आ रही है. हाल ही में पुणे और नाशिक से आने वाले कुछ लोग कोरोना पॉजिटीव पाये गए. इनमें से 2 लोग फिलहाल होम क्वारेंटाइन में है. हालांकि बडनेरा रेलवे स्टेशन पर ट्रेन से उतरने वाले यात्रियों की जांच के लिए रेलवे स्टेशन के प्रवेश व्दार पर एक टेबल लगाया गया है. वहां यात्रियों की आरटीपीसीआर टेस्ट रिपोर्ट देखी जाती है. इसके अलावा उनका थर्मल स्कैनिंग भी किया जाता है, लेकिन खबर हेै कि बडनेरा रेलवे स्टेशन के बाहर निकलने के लिए मुख्य प्रवेश व्दार के अलावा अन्य मार्ग भी है. जिनके पास आरटीपीसीआर टेस्ट नहीं रहती, ऐसे यात्री इस चोरी के मार्ग से रेलवे स्टेशन से बाहर आते है. इस कारण यह यात्री कोरोना संक्रमित है या नहीं इसका पता नहीं चलता. साथ ही उनके हाथों पर गृह विलगीकरण का सिक्का भी नहीं मारा जाता.
विशेष यह कि बडनेरा रेलवे स्टेशन के मुख्य प्रवेश व्दार पर शहर में आने वाले यात्रियों की रिपोर्ट जांचने के साथ ही यात्री का तापमान और ऑक्सिजन लेवल भी जांची जाती है. अगर किसी यात्री का तापमान ज्यादा है और उनमें कोरोना के लक्षण पाये जाते है, उन्हें तत्काल अस्पताल ले जाने के लिए रेलवे स्टेशन के बाहर एक एम्बुलेंस की व्यवस्था भी की गई है. किंतु मुख्य प्रवेश व्दार छोडकर शहर में दाखिल होने वाले यात्रियों के कारण कोरोना संसर्ग को रोकने के प्रयास नियंत्रण में आने की बजाय ओर बिघडने की संभावना व्यक्त की जाती है.
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सफर के 72 घंटा पहले की हुई रिपोर्ट मान्य
इस बीच रेल अधिकारी के अनुसार रेलवे सफर के 72 घंटे पहले की हुई आरटीपीसीआर टेस्ट रिपोर्ट रेलवे में सफर करने के लिए ग्राह्य मानी जाएगी, ऐसा स्पष्ट किया गया है. संबंधीत 6 राज्यों से आने वाले हर यात्री से आरईपीसीआर रिपोर्ट मांगी जा रही है. जिसके पास रिपोर्ट नहीं है उस यात्री की रैपिड एन्टीजन टेस्ट की जाती है तथा सभी यात्रियों का थर्मल स्क्रिनिंग कर उन्हें होम क्वारेंटाइन के सिक्के मारे जाते है. संदिग्ध यात्री की रैपिड टेस्ट कर पॉजिटीव आने वाले यात्रियों को मनपा की टीम की मदत से क्वारेंटाइन सेंटर पर भेजा जाता है.