अलग-अलग वैरायटियों में मिल रहे तरबूज
हरे व पीले रंग में उपलब्ध कराये जा रहे है तरबूज के फल
अमरावती/प्रतिनिधि दि.12 – गर्मी के दिनों में शरीर को ठंडक पहुंचाने वाले फल काफी पसंद किये जाते है. इन रसीले फलों में तरबूज फलों की बडे पैमाने पर डिमांड होती है. अब तरबूज के फल की अलग-अलग वैरायटियों में नागरिकों को उपलब्ध कराये जा रहे है. हरे व पीले रंग के तरबूज भी अब अमरावती के बाजार में उपलब्ध कराये गये है.
यहा बता दें कि, तरबूज ऐसा फल है कि, जो शरीर को पूरी तरह से ठंडक पहुंचाता है. यह फल गर्मी के दिनों में बडे पैमाने पर पसंद किया जाता है. तरबूज का उपरी हिस्सा पूरी तरह से हरा और भीतर से लाल होता है और ऐसे ही तरबूज फल लोगबाग पसंद करते है. लेकिन कभी आपने यह सोचा है कि, तरबूज का उपरी आवरण पीला और भीतर से लाल हो, या फिर उपर से हलका हरा और भीतर से लाल तथा पूरा हरा व भीतर से पीला यह विविध वैरायटियों के तरबूज शहरवासियों के लिए सरोदे बंधूओं ने उपलब्ध कराकर दिये है.
शहर के सरोदे बंधूओं के अमरावती शहर से काफी नजदिक आने वाले रहाटगांव चौक से केवल 5 मिनट के दूरी पर स्थित नागपुर रोड के वलगांव माहुरे में खेत है. अपना पुश्तैनी व्यवसाय संभालते हुए सुनिल सरोदे, अभय सरोदे व सचिन सरोदे खेतीबाडी संभालते है. सरोदे बंधू अपने खेतों में नये-नये प्रयोग करते हुए अलग-अलग ढंग से फसलें लेते है. वे अपने खेत में सीताफलों के बगान लगाने के साथ ही अन्य फसलें भी लेते है. हाल ही में उन्होंने अपने खेत में पपीते की बुआई शुरु की है. वहीं तरबूजों का उत्पादन उन्होंने लिया है. नये तरबूजों में उन्होंने आरोही, सरस्वती, विशाखा व मैक्स तरबूजों की देढ एकड में बुआई की थी. पूरी तरह से प्राकृतिक और विषमुक्त उत्पादित किये गये तरबूजों का वजन 3 से 7 किलो तक उपलब्ध है. रसीले और स्वादिष्ट विविध वैरायटियों के तरबूज श्रीनाथ फार्म के नाम से बाजार में उपलब्ध है. उनके अलावा विजय कालोनी के अमृत नैचरल राजापेठ के स्वानंद, राजापेठ बस स्टॉप के कामधेनू प्राकृतिक उर्जा केंद्र, शेगांव-रहाटगांव रोड स्थित अमरावती नैचरल, रुख्मिणी नगर मेन रोड स्थित सतिश सोनोने, मालटेकडी के हर्षल ज्यूस और जवाहर रोड स्थित सुनिल सरोदे के फार्म में उपलब्ध है. विविध वैरायटियों के तरबूज उत्पादन के लिए सुबोध क्षीरसागर, वैभव देशमुख, अविनाश असनारे, शशांक जोशी, वसीम खान का मार्गदर्शन मिला. विविध वैरायटियों के तरबूजों का लुप्त उठाने का आवाहन सरोदे बंधूओं ने किया है.