विदर्भ

432 टन संतरा लेकर नागपुर से निकली 100 वीं किसान रेल

वरूड, नरखेड, पांढुर्णा से भेजे गये संतरे

नागपुर/दि.30 – 100 वीं किसान रेल मंगलवार को नागपुर पहुंची. यहां कुल 432 टन संतरा लेकर रेल गंतव्य की ओर बढी. प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने 28 दिसंबर को वीडियो लिंक के माध्यम से इस गाडी को सांगोला (महाराष्ट्र) से हरी झंडी दिखाई थी. ट्रेन को सांगोला से शालीमार तक चलाया जा रहा है. नागपुर स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर 8 से दोपहर 1.30 यह ट्रेप शालीमार की ओर बढी है. गाडी में वरूड, नरखेड व पांढुर्णा से संतरे भेजे गये है. किसान की उपज को अब ट्रको के माध्यम से एक राज्य से दूसरे राज्य तक भेजा जाता था. ट्रको के माध्यम से उपज को भेजने में किसानों को बहुत ज्यादा किराया लगता था, जिससे नुकसान ही सहना पडता था. इन बातों को ध्यान में रखते हुए केन्द्र सरकार की ओर से किसान रेल की शुरूआत की गई. पहली किसान रेल अगस्त 2020 में एक साप्ताहिक ट्रेन के रूप में शुरू की थी.
सांगोला-शालीमार किसान रेल 21 नवंबर को शुरू हुई थी. मल्टी कमोडिटी ट्रेन सेवा फूलगोबी, शिमला मिर्च, पत्तागोभी, सहजन, मिर्च, प्याज आदि सब्जियों के साथ-साथ अंगूर, संतरा, अनार, केला, कस्टर्ड ऐपल जैसे फल का भी परिवहन कर रही है. 28 दिसंबर को 100 वीं किसान रेल को सांगोला-शालीमार के लिए ट्रेन में नागपुर से 432 टन संतरे भेजे गये. इससे नागपुर मंडल को 14 करोड 61 लाख रूपये का राजस्व प्राप्त हुआ. सांगोला से चली किसान रेल मनमाड, भुसावल, बडनेरा, नागपुर, रायपुर, बिलासपुर, टाटानगर होते हुए शालीमार जाएगी. जिसमें नागपुर से 19 पार्सल वैगन संतरे के जोडे गए. कुल गाडी में 22 वैगन हैं, जिसमें नागपुर के संतरे के अलावा सोलापुर, सांगली जिले के सांगोला, पंढरपुर, मोडलिंब,केवटी-महांकाल, सालगारे में उगाए जानेवाली शिमला मिर्च, अनार, अंगूर,अहमदनगर से नीबू, करमाला से टमाटर और पौधे भेजे गये हैं.

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