नागपुर /दि.21– किसी जरिए फर्जी पदवी प्रमाणपत्र हासिल कर वैद्यकीय व्यवसाय करने वाले बोगस डॉक्टरों को खोजने हेतु अभियान चलाया जाएगा. साथ ही ऐसे फर्जी डॉक्टरों के खिलाफ कडी कार्रवाई भी की जाएगी. इस आशय की जानकारी वैद्यकीय शिक्षा मंत्री हसन मुश्रीफ ने गत रोज प्रश्नोत्तरकाल के दौरान विधानसभा में दी.
विधायक बालासाहब थोरात ने इसे लेकर प्रश्न उपस्थित किया था और इस पर हुई चर्चा में विधायक अजय चौधरी, प्रताप सरनाईक, योगेश सागर, वर्षा गायकवाड, राजेश टोपे, रविंद्र वायकर व अमित देशमुख ने हिस्सा लिया. पश्चात अपना जवाब देते हुए मंत्री हसन मुश्रीफ ने कहा कि, वैद्यकीय पाठ्यक्रम पूर्ण करते हुए पदवी प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को महाराष्ट्र वैद्यकीय आयोग में अपना पंजीयन कराना अनिवार्य है. महाराष्ट्र में वैद्यकीय व्यवसाय करने हेतु यह पंजीयन करना बेहद आवश्यक है. साथ ही विदेश से वैद्यकीय प्रमाणपत्र प्राप्त करने वाले विद्यार्थियों को भारतीय वैद्यक विज्ञान परिषद व महाराष्ट्र वैद्यकीय आयोग इन दोनों संस्थाओं में अपना पंजीयन कराना आवश्यक होता है. साथ ही वैद्यकीय क्षेत्र में एक वर्ष की आंतरवासिता (इंटर्नशीप) करना भी बेहद अनिवार्य है. विदेश से फर्जी पदवी प्रमाणपत्र प्राप्त करने वाले 123 विद्यार्थियों को वर्ष 2022-23 में केंद्रीय अन्वेषण विभाग (सीबीआई) के जरिए देश में खोजा गया है.