विदर्भ

पेड़ बचाने के लिए तीन वर्ष का किया जाए करार

अभ्यासकों की मांग

नागपुर/प्रतिनिधि दि.८ – विकास के नाम पर बड़े पैमाने पर पौधारोपण किया जाता है. वहीं मुआवजे में पांच गुना पेड़ लगाने की घोषणा की जाती है. लेकिन प्रत्यक्ष मंेंं अमल होते नहीं दिखाई देता. प्रत्यक्ष में इसका हल निकालने के लिए ठेकेदार के साथ तीन साल का करार कर 20 फूट तक पेड़ बढ़ाने की गारंटी ठेेकेदार ने लेनी चाहिए अन्यथा जुर्माना वसूला जाये, यह सूचना पर्यावरण क्षेत्र के अभ्यासकों ने प्रशासन से की है.
नागपुर में प्रस्तावित इंटर मॉडल स्टेशन के लिए अजनी परिसर में बड़े पैमाने पर पेड़ों की कटाई की जा रही है. जिसके चलते केंद्रीय मंत्री नितिन गडकरी ने पांच गुना पौधारोपण किये जाने का आश्वासन दिया. लेकिन इससे पहले जो विविध पौधारोपण प्रकल्प हाथ में लिये हैं, उसका क्या हुआ? नासुप्र, मनपा सहित राज्य सरकार व्दारा किये गये पौधारोपण अभियान के अनेक दावे फेल होने से रोष जताया जा रहा है. पौधारोपण केवल कागजों तक ही नहीं बल्कि प्रत्यक्ष दिखने के लिये नियोजन करने की जरुरत आन पड़ी है. तीन वर्षों में पेड़ों की ऊंचाई 20 फूट तक नहीं पहुंची तो ठेकेदार को प्रति पेड़ 4 से 5 हजार रुपए जुर्माना वसुला जाये, ऐसी सूचना दी गई है. इन सूचनाओं का पालन होने पर पर्यावरण की क्षति को भरकर निकाला जा सकता है.

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