विदर्भ

भाजपा प्रदेशाध्यक्ष के पत्र को रेलवे ने दिखाई कचरे की टोकरी

शकुंतला अब भी बंद : शुरु करने हेतु 20 वर्षों से हो रहा प्रयास

रोहना (वर्धा)/दि.28– विदर्भ की नॅरेगेज शकुंतला रेलवे गाड़ी विगत अनेक वर्षों से बंद अवस्था में है. इस नेरोगेज रेलवे लाइन का ब्रॉडगेज में रुपांतर कर शकुंतला ट्रेन पुनः शुरु की जाये, इसके लिए नागरिकों के आग्रह पर भारतीय जनता पार्टी के प्रदेशाध्यक्ष चंद्रकांत पाटील ने केंद्रीय रेलवे मंत्रालय को पत्र भेजा. लेकिन अब तक कोई कार्यवाही नहीं किये जाने से उनके पत्र को भी रेलवे मंत्रालय ने कचरे की टोकरी दिखाये जाते दिखाई दे रहा है.
विदर्भ के यवतमाल, अचलपुर-मूर्तिजापुर-आर्वी, पुलगांव व नागभीड़ एवं ब्रह्मपुरी यह तीन अंग्रेजकालीन नॅरोगेज शकुंतला रेलगाड़ी शुरु थी. लेकिन विगत बीस वर्षों से ये तीनों रेलवे बंद रहने से इस भाग का यातायात प्रभावित हुआ है. इन सभी गाड़ियों को ब्रॉडगेज में बदलकर व इस मार्ग का विस्तार शुरु करने की मांग नागरिकों द्वारा की जा रही है.
सन 2014 के चुनाव के दरमियान भाजपा ने इन बंद गाड़ियों को शुुरु करने का आश्वासन दिया था. लेकिन चुनाव होने के बाद पार्टी ने व सरकार ने भी इस ओर ध्यान नहीं दिया. केंद्र की भाजपा की दूसरी टर्म शुरु रहने के साथ ही फिलहाल रावसाहब दानवे रेलवे राज्यमंत्री हैं. जिसके चलते ही यह रेलवे शुरु करवाने के लिए रोहना के रेलवे मुक्ति व विकास परिषद के कार्यकर्ताओं ने यह बात भाजपा के प्रदेशाध्यक्ष चंद्रकांत पाटील को बताई. उन्होंने रेलवे मंत्रालय से पत्र द्वारा मांग की लेकिन अब तक दखल न लिये जाने से नागरिकों द्वारा नाराजी व्यक्त की जा रही है.
* इन रेलवे मार्ग पर भारत सरकार का ताबा
तीनों रेलवे गाड़ियां सन 2016 में अंग्रेज सरकार के मालकी से मुक्त हुई व अब इस मार्ग पर भारत सरकार का पूर्ण ताबा होने की बात भी शासन के ध्यान में लायी गई. प्रदेशाध्यक्ष चंद्रकांत पाटील ने तुरंत रेलवे राज्यमंत्री रावसाहब दानवे को पत्र भेजकर यवतमाल से अचलपुर रेलगाड़ी बैतुल तक आगे ले जाकर आर्वी-पुलगांव यह तिवसा-चांदूर तक भेजकर व नागभीड़ से ब्रह्मपुरी में ब्रॉडगेज में रुपांतरित कर रेलवे शुरु करने की मांग की. अब पत्र भेजकर चार महीने बीत गये. दरमियान अर्थसंकल्पीय अधिवेशन भी हो गया. बावजूद इस बाबबत किसी प्रकार की कार्यवाही नहीं हुई, इसलिए इस प्रश्न के संदर्भ में शासन उदासीन होने का विचार नागरिकों द्वारा व्यक्त किया जा रहा है.

 

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