नागपुर/दि.19– कपास को कम से कम 10 हजार रुपए प्रति क्विंटल का रेट मिलने कि किसानों की अपेक्षा इस बार पूरी नहीं होने की संभावना है. वैश्विक मंदी के कारण कपास 7200 रुपए के रेट पर स्थिर रहने की संभावना जानकारो ने व्यक्त की है. उन्होंने बताया कि सरकी के रेट में चढउतार रहने से कपास पर उसका असर पडेगा. पिछले वर्ष समर्थन मूल्य से हजार दो हजार रुपए प्रति क्विंटल रेट अधिक प्राप्त हुए थे. जिससे किसानों को आशा थी.
* प्रति गांठ वायदा
वायदा बाजार की बात करे तो नवंबर का कपास गांठ का रेट 58280 और जनवरी में यही दाम 60 हजार रुपए होने की अपेक्षा है. पिछले वर्ष यह रेट 61 हजार रुपए थे. उसके पिछले वर्ष कोरोना महामारी दौरान कपास गांठ के रेट 1 लाख रुपए तक पहुंचे थे.
* 1994 से कम
विश्व बाजार में रुई के दाम 95 सेेंट प्रति पौंड के आसपास है. यह रेट 1994 के रेट से 15 सेंट कम है. उस समय रुई 1 डॉलर 15 सेंट प्रति पौंड थी. रुपए के अवमूल्यन के कारण देशांतर्गत मंडी में कपास के भाव बढे लग रहे हैं.
* कपास को प्राप्त औसत रेट
वर्ष एमएसपी दर
2022-23 6,380 7,690 से 7,860
2021-22 6,025 8,850 से 9,460
2020-21 5,825 5,994 से 6,454
2019-20 5,550 5,126 से 5,183
2018-19 5,450 5,732 से 5,726