* उद्योगपति, सीए, स्टील कंपनियों के मालिक, डिब्बा और सट्टा व्यापारियों सहित 400 लोगों के नाम
नागपुर /दि. 16– डमी कंपनियों के माध्यम से काली कमाई को सफेद करने के मामले में इनकम टैक्स विभाग ने विदर्भ के 400 लोगों को नोटिस जारी किए हैं. इनमें नागपुर के अलावा विदर्भ और मुंबई के भाजपा-कांग्रेस के बडे नेता, उद्योगपति, सीए, बडी स्टील कंपनियों के मालिक, डिब्बा और सट्टा व्यापार से जुडे लोग शामिल हैं. इन्हें 31 मार्च 2024 के पहले तक हिसाब देने का कहा हैं. नोटिस में पांच बडे पॉईंट है, जिन पर जानकारी चाही गई हैं.
नागपुर शहर में पंकज मेहाडिया ने लोकेश जैन, कार्तिक जैन, बालमुकुंद केयाल के साथ मिलकर पांच डमी कंपनियां बनाई थी. इसमें मेहाडिया सेल्स ट्रेड कार्पोरेशन, मेहाडिया सेल्स ट्रेड कार्पोरेशन प्राइवेट लिमिटेड, नंदलाल डी मेहाडिया, लोकेश मेटेलिक्स, सद्गुरु इंटरप्राइजेस, नंद सन्स लॉजिस्टिक लिमिटेड शामिल हैं. इन कंपनियों का मुख्य काम कागजों पर ट्रांजेक्शन दिखाकर काले धन को सफेद करना था. 2017-18, 2018-19 में इन कंपनियों के जरिए करीब 400 लोगों ने 1000 करोड रुपए का लेन-देन खातों बताया था. इनकम टैक्स जांच में इनमें से अधिकतर एंट्री फर्जी निकली.
* यह जानकारी मांगी
इनकम टैक्स नोटिस में 2017-18 का इनकम टैक्स रिटर्न की जानकारी के साथ ही इसी फाइनांशियल ईयर का बैंक स्टेटमेंट, प्रॉफिट-लॉस एकाउंट की जानकारी, संबंधित साल में लिए लोन की जानकारी, 2017 का ओपनिंग और 31 मार्च 2018 का क्लोजिंग बैलेंस की जानकारी मांगी गई हैं.
* असली खेल लोन में
इनकम टैक्स विभाग सूत्रों के अनुसार, डमी कंपनियों से शहर के नामी लोगों ने फर्जी लोन लेना दिखाया. दरअसल एक हाथ से कैश लिया गया और उसके बदले उसकी ही राशि का लोन लेना बताया गया. इसके बदले 10 15 प्रतिशत कमीशन लिया गया. इसी लोन की जांच में काली कमाई का राज छिपा था.
* माफिया ने खडा किया सबसे बडा वकील
पंकज मेहाडिया के खातों में उलझे माफिया ने बचने के लिए शहर व देश के एक नामी वकील को खडा किया हैं. जिसकी एक बार की हाजिरी फीस ही 7 लाख रुपए हैं. दरअसल, माफिया ईडी प्रकरण रद्द करवाया चाह रहे हैं, ताकि जांच खत्म हो जाए और राज नहीं खुलें. हालांकि अब मामला सुप्रीम कोर्ट चला गया हैं. इस माफिया में नेता घाट रोड स्थित एक बडी स्टील कंपनी का मालिक भी हैं, जो फंसा हुआ हैं.