विदर्भ

पेंज व्याघ्र प्रकल्प में पर्यटकों की बढी संख्या

सिल्लारी, खुर्सापार प्रवेश व्दार से आने वालों के लिए खास रहा वाघ का दर्शन

नागपुर/दि.24– कोरोना काल के समय सभी ओर संचार बंदी रहने से सबसे ज्यादा नुकसान पर्यटन विभाग को बैठा था. मगर अब पर्यटन उद्योग में फिर से अच्छे दिन आ रहे है. कोरोना काल के पश्चात पेंच व्याघ्र प्रकल्प में पर्यकटकों की संख्या डबल बढ गई है. 2019-20 वर्ष में 53 हजार पर्यटकों ने भेंट दी थी. वही इस बार एक लाख सात हजार से ज्यादा अधिक पर्यटकों ने पेंंच में पहुंचे.

पेंच व्याघ्र प्रकल्प में अब सिल्लारी व खुर्सापार प्रवेशव्दार से आने वालों को खास तौर पर बाघ के दर्शन हो रहे है. जिसके चलते पर्यटकों में अच्छा उत्साह देखा जा रहा है. बाघ के अलावा इस प्रकल्प में विभिन्न पक्षी, फुल पर बैठने वाले पक्षी, तितली यह सभी प्रकृति का खजाना है. पेंच में सिल्लारी, खुर्सापार, चोरबाहुली, कोलितमारा, सुरेवानी व खुबला यह छह पर्यटन प्रवेश व्दार है. यह प्रकल्प 741 चौरस किमी की लंबाई में फैला हुआ है. क्युआर आधारित फीडबैक व्यवस्था, महिला निसर्ग मार्गदर्शन व महिला जिप्सी चालक, शोभनिय वस्तुओं की बिक्री केंद्र के आधुनिकीकरण करने व विद्युत वाहन चार्जिंग सुविधा शुरु की गई. साथ ही दिव्यांगों के लिए उनकी आवश्यकता नुसार एक खास वाहन तैयार किया गया है. दिव्यांग के लिए पर्यटन गेट पर व्हील-चेयर उपलब्ध कर दिए गए है. प्लास्टिक मुक्त पेंच कार्यक्रम शुरू किया गया है. पेंच प्रकल्प के पानी क्षेत्र टैंकर मुक्त है. पेंच व्याघ्र प्रकल्प के पर्यटन परिसर सौर ऊर्जा चलित किए गए है.

कोलिमास में हाल ही में पैरा-मोटरिंग व हॉट एअर बलुन जैसे साहसी उपक्रम शुरु किए गए है. आंतराष्ट्रीय डार्क स्काय ऑर्गनाईजेशन ने पेंच व्याघ्र प्रकल्प को भारत का पहला ‘डार्क स्काय अभयारण’ के रुप में घोषित किया है. खुले आकाश में निसर्ग प्रेमियों व खगोलशास्त्र में रस घोलने वाला यह स्थान आकर्षित करने वाला है. पेंच नदी के कोलिसमारा से नवेगांव खैरी यह बोट सफारी शुरू की जा रही है. इस उपक्रम के कारण पेंच यह महाराष्ट्र का प्रमुख आकर्षक स्थल बन गया है.
डॉ. प्रभू नाथ शुक्ल, क्षेत्र संचालक, पेंच व्याघ्र प्रकल्प

वर्ष कुल पर्यटकों की संख्या
2019-20 53 हजार
2020-21 41 हजार
2021-22 41 हजार
2022-23 77 हजार
2023-24 1 लाख 7 हजार

प्रकल्प में उपस्थित प्राणी व पक्षी
बाघ————- 40
अन्य जानवर——–71 प्रकार
रेंगने वाले प्राणी——53
पक्षी ————– 367 प्रकार
तितली ———— 170 प्रकार

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