विदर्भ

एक ही परिवार के चार लोगों की हत्या

पूरे घर में बिखरा पडा था खून

  • एक पल में पूरा परिवार हो गया खत्म

  • तिरोडा की घटना, चहुंओर हडकंप

गोंदिया/दि.22 – तिरोडा तहसील अंतर्गत चुरडी में एक ही परिवार के चार लोगों को बडी निर्ममता के साथ मौत के घाट उतार दिया गया. यह हत्याकांड सोमवार-मंगलवार की दरम्यानी रात घटित हुआ और मंगलवार की सुबह 10 बजे जब परिवार का ड्राईवर गाडी ले जाने हेतु पहुंचा तब उसे घर के भीतर चार शव पडे दिखाई दिये. फिलहाल यह स्पष्ट नहीं हो पाया है कि, इस हत्याकांड की वजह क्या थी और इस हत्याकांड में किन लोगों का हाथ है. किंतु प्राथमिक अनुमान है कि एक ही परिवार के चार लोगोें की हत्या करने में एक से अधिक आरोपियों का समावेश हो सकता है.
जानकारी के मुताबिक चुरडी निवासी ट्रान्सपोर्ट व्यवसायी रेवचंद डोंगरू बिसेन (51), उनकी पत्नी मालता बिसेन (45), पुत्री पूर्णिमा बिसेन (20) व पुत्र तेज बिसेन के शव उनके ही घर से रक्तरंजित अवस्था में बरामद हुए है. रेवचंद बिसेन के तीन मेटॅडोर व एक ट्रैक्टर है और वे राशन के अनाज की ढुलाई का काम करते थे. 21 सितंबर को तडके बिसेन परिवार के निवास में अज्ञात आरोपियों ने प्रवेश करते हुए गहरी नींद में सो रहे सभी लोगोें पर ट्रैक्टर के स्पेंडल से सिर पर वार किया. जिसकी वजह से सभी लोगोें के सिर लगभग फट गये और बडे पैमाने पर रक्तस्त्राव होने की वजह से उनकी मौत हो गई. मंगलवार की सुबह जब यह मामला उजागर हुआ, उस वक्त ममता बिसेन का शव एक बेड पर खून से सना पडा हुआ था. वहीं पूर्णिमा बिसेन व तेजस बिसेन के रक्तरंजीत शव दूसरे बेड पर पडे हुए थे. इसके अलावा रेवचंद बिसेन का शव फांसी के फंदे पर लटका हुआ पाया गया. इस फांसी के फंदे की रस्सी दरवाजे से होते हुए खिडकी से बांधकर रखी गई थी.
पुलिस का अनुमान है कि, यह मामला हत्या का नहीं बल्कि आत्महत्या का दिखाई दे, इस हेतु आरोपियों ने बडे ही नियोजनबध्द ढंग से इस वारदात को अंजाम देने के बाद रेवचंद के शव को फंदे से लटका दिया था. घटना की जानकारी मिलते ही तिरोडा थाने सहित गोंदिया जिले के सभी अधिकारी तुरंत मौके पर पहुंचे. पुलिस ने घटनास्थल के पास ही इस हत्याकांड को अंजाम देने में प्रयुक्त हुआ ट्रैक्टर का स्पेंडल बरामद किया. पश्चात मौके का पंचनामा करते हुए सभी शवों को पोस्टमार्टम हेतु भिजवाया गया.

परिवार की 90 वर्षीय बुजुर्ग बची अकेली

रेवचंद बिसेन के परिवार में उनकी 90 वर्षीय मां खेमनबाई डोंगरू बिसेन भी है, जो घर के ही एक कमरे में अपने बिस्तर पर सो रही थी. हमलावर पिछले दरवाजे से घर के भीतर घुसे और उन्होंने परिवार के चार लोगों को मौत के घाट उतार दिया. किंतु इसकी खेमनबाई को भनक तक नहीं लगी. ऐसे में पुलिस अब परिवार में अकेली जिंदा बची खेमनबाई से इस पूरे मामले को लेकर आवश्यक जानकारी हासिल कर रही है.

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