* विशेष जांच समिती गठित
नागपुर/दि.16– भाजपा के प्रदेश महासचिव विधायक चंद्रशेखर बावनकुले द्वारा उर्जामंत्री रहते हुए अपने कार्यकाल के दौरान महावितरण को लेकर किये गये कामों की जांच करने का निर्णय राज्य सरकार द्वारा जारी किया गया है. जिसे पूर्व उर्जामंत्री बावनकुले के लिए जबर्दस्त धक्का माना जा रहा है.
बता दें कि, मुंबै बैंक मामले में विधान परिषद के नेता प्रतिपक्ष प्रवीण दरेकर के खिलाफ अपराध दर्ज होने के चलते भाजपा में अच्छी-खासी खलबली मची हुई है. वही अब भाजपा के वरिष्ठ नेता चंद्रशेखर बावनकुले भी रडार पर आ गये है. जिससे हडकंपवाली स्थिति बन गई है. साथ ही अब राज्य के सत्ता पक्ष व विपक्ष में संघर्षपूर्ण स्थिति बन गई है.
बता दें कि, वर्ष 2014 से 2019 के दौरान पांच वर्ष तक देवेंद्र फडणवीस सरकार में उर्जा मंत्रालय चंद्रशेखर बावनकुले के पास था. ऐसे में इस दौरान बावनकुले द्वारा किये गये महावितरण से संबंधित सभी कामों की जांच करने हेतु एक समिती गठित की गई है. राज्य के मौजूदा उर्जा मंत्री नितीन राउत की अध्यक्षता में हुई बैठक में लिये गये निर्णय के आधार पर त्रिसदस्यीय समिती गठित की गई है. जिसमें महावितरण के वित्त विभाग के संचालक व अध्यक्ष तथा संचालन विभाग के संचालक व कार्यकारी संचालक का समावेश किया गया है. साथ ही इस समिती को अपनी रिपोर्ट पेश करने हेतु एक माह का समय दिया गया है. ऐसे में इस समिती ने पूर्व उर्जामंत्री बावनकुले द्वारा उनके कार्यकाल के दौरान किये गये कामों एवं लिये गये निर्णयों की जांच-पडताल करनी शुरू की है. जिसे बावनकुले के लिए काफी बडा झटका माना जा रहा है.
उल्लेखनीय है कि, पूर्व मंत्री बावनकुले पर खुद उनके भांजे द्वारा सनसनीखेज आरोप लगाये गये थे. जिसकी चर्चा पूरे राज्य में थी. वहीं विगत विधानसभा चुनाव में ऐन समय पर उनकी टिकट कट गई थी. जिसके पीछे रहनेवाली वजहें अब तक सामने नहीं आयी है. वहीं संगठन में सक्रिय होने के बाद उन्होेंने काफी मुखर होते हुए मौजूदा सरकार के खिलाफ आक्रमक भूमिका अपनायी लेकिन अब सरकार द्वारा उनके खिलाफ जांच का पैतरा चलते हुए उनकी मुश्किलों को बढा दिया गया है.