खेती पंप के नाम पर 12 हजार करोड की चोरी
महाराष्ट्र बिजली ग्राहक संगठना के अध्यक्ष प्रताप होगाडे का आरोप
यवतमाल/ दि.30 – खेती पंप बिजली उपयोग के नाम पर 12 हजार करोड रुपए की चोरी व भ्रष्टाचार किया गया है. केवल किसानों को बेवजह बदनाम किया जा रहा हेै. राज्य में फिलहाल शुरु बिजली कटौती भी अनावश्यक है, ऐसा महाराष्ट्र बिजली ग्राहक संगठना के अध्यक्ष प्रताप होगाडे ने पत्रकार परिषद में स्पष्ट आरोप लगाया.
इस समय उनके साथ मुकुंद माली व पदाधिकारी उपस्थित थे. होगाडे ने पत्रकारों को संबोधित करते हुए कहा कि, महावितरण कंपनी ने सुविधाजनक तरीके से शुरु रहने वाले हर वर्ष की 12 हजार रुपए करोड रुपए की चोरी व भ्रष्टाचार दबाने के लिए राज्य के किसानें के बिजली का उपयोग दोगुना दिखाया है. किसानों को बेवजह बदनाम कर किसान व राज्य सरकार इन दोनों को लूटा जा रहा है. इसके कारण राज्य के सभी खेत पंप, बिजली ग्राहक, व्दारा सबसे पहले अंतिम बिजली बिल व बकाया ठिक करने के लिए आवेदन करे और मरम्मत होने के बाद ठिक करने के अनुसार ही सहुलियत योजना का लाभ ले, ऐसा आह्वान किया गया.
इसके साथ ही राज्य में बिजली कटौती अनावश्यक है, यह महानिर्मिति व महावितरण दोनों कंपनी की लापरवाही और नियोजन शुन्य कामकाज का परिणाम होने का आरोप इस समय उन्होंने लगाया. राज्य में की जा रही बिजली कटौती गलत है, हकीकत यहीं है कि, सही मायने में हमारे राज्य में 2016 से अतिरिक्त बिजली उपलब्ध है. नवंबर 2016 में महाराष्ट्र विद्युत नियामक आयोग के आदेशानुसार 2016 से 2020 काल में 4 हजार से 6 हजार मेगावैट तक अतिरिक्त बिजली उपलब्ध थी. मार्च 2020 के आयोग के आदेशानुसार अब 2020-21 से 2024-25 तक तीन हजार से सव्वातीन हजार मेगावैट अतिरिक्त बिजली उपलब्ध है. फिर भी बिजली कटौती का समय क्यों आता है, ऐसा गंभीर प्रश्न पूछकर प्रताप होगाडे ने बिजली कटौती के नाम पर प्रश्नचिन्ह उपस्थित किया.