अमरावतीमहाराष्ट्र

अब निजी दवाखाने किये जायेंगे अधिग्रहित

कोरोना संक्रमितों की बढती संख्या से मनपा प्रशासन चिंतीत

प्रतिनिधि/दि.१६ अमरावती महानगर सहित जिले के ग्रामीण क्षेत्रों में कोरोना संक्रमितों की संख्या और मृत्यु दर में हुई वृध्दी के चलते प्रशासन की चिंता बढ गयी है. साथ ही संक्रमितों की लगातार बढती संख्या कोा ध्यान में रखते हुए मनपा प्रशासन द्वारा अब शहर के निजी अस्पतालों को अधिग्रहित करने की तैयारी शुरू की गई है. जिसके तहत आयसीयू बेड व अति दक्षता कक्ष रहनेवाले निजी अस्पतालों की जानकारी संकलित की जा रहीं है. इसके साथ ही अधिग्रहण के लिए इन्कार करनेवाले अस्पतालों के खिलाफ कार्रवाई करने की भी मानसिकता प्रशासन द्वारा बना ली गयी है. बता देें कि, इन दिनों अमरावती शहर सहित जिले के ग्रामीण इलाकों में कोरोना का संक्रमण बडी तेज रफ्तार से फैल रहा है तथा अब तक अमरावती में कुल १०७२ कोरोना संक्रमित मरीज पाये जा चुके है. जिनमें से ३६ मरीजों की मौत हो चुकी है और इस समय करीब ४०० मरीजों का कोविड अस्पतालों में इलाज चल रहा है. मरीजों के लगातार बढती संख्या को ध्यान में रखते हुए माना जा रहा है कि, निकट भविष्य में मरीजों को भरती करने हेतु बडे पैमाने पर अस्पतालों में बेड की संख्या बढाने की जरूरत पडेगी. फिलहाल स्वास्थ प्रशासन के पास सुपर स्पेशालीटी अस्पताल के कोविड अस्पताल सहित डॉ. पंजाबराव देशमुख स्मृति मेडिकल कालेज, डॉ. राजेंद्र गोडे अभियांत्रिकी महाविद्यालय व जवाहरलाल नेहरू होमिओपॅथी कालेज (डॉ. ढोले हॉस्पिटल) तथा बेस्ट हॉस्पिटल में कुल ४०० बेड की व्यवस्था है. ऐसे में मरीजों की लगातार बढती संख्या को ध्यान में रखते हुए मनपा प्रशासन द्वारा हर स्तर पर तमाम आवश्यक प्रयास किये जा रहे है. जिसके तहत सरकारी अस्पतालों के साथ ही निजी अस्पतालों को अधिग्रहित करने के पर्याय पर काम किया जा रहा है. qकतु पाया जा रहा है कि, प्रशासन द्वारा आवाहन किये जाने के बाद भी कई निजी अस्पतालों द्वारा कोरोना संक्रमित मरीजों को अपने यहां भरती कर इलाज करने से मना किया जा रहा है और आयसीयू बेड उपलब्ध नहीं रहने की वजह को सामने कर कोरोना सदृष्य लक्षण पाये जानेवाले मरीजोें को सरकारी अस्पतालों में जाने कहा जा रहा है. इस बात के चलते मनपा ने अब सभी निजी अस्पतालों पर ध्यान देना शुरू किया है और आयसीयू बेड की जानकारी छिपानेवाले निजी दवाखानों पर मनपा द्वारा कडी नजर रखी जा रही है. जानकारी है कि, मरीज, उन पर जारी इलाज, इलाज पर होनेवाले खर्च और बेड की उपलब्धता की जानकारी प्राप्त करने हेतु प्रशासन द्वारा स्वतंत्र अधिकारी नियुक्त करने की योजना है. साथ ही जिन सरकारी दवाखानों द्वारा कोरोना संक्रमित मरीजों के इलाज से इन्कार किया जायेगा, उनके खिलाफ फौजदारी अपराध दर्ज करने से लेकर उनके लाईसेन्स रद्द करने तक की कार्रवाई की जायेगी. प्रशासन के मूताबिक मरीजोें की लगातार बढती संख्या को देखते हुए मरीजोें को भरती करने हेतु पर्यायी व्यवस्था करना बेहद जरूरी है और शहर के निजी अस्पतालों से इस काम में सहयोग देने का आवाहन भी किया गया है. जिसमें कुछ अस्पतालों व डॉक्टरों द्वारा सकारात्मक प्रतिसाद दिया गया है. वहीं कई अस्पताल व डॉक्टर इस काम में शामिल होने के इच्छूक नहीं है. बॉ्नस, फोटो निगमायुक्त रोडे मरीजों की लगातार बढती संख्या के मद्देनजर अब बीएएमएस व बीएचएमएस डॉक्टरों से भी सहयोग मांगा जा रहा है तथा उन्हें इस काम के लिए आवश्यक मानधन देने की योजना भी बनायी गयी है. इसी तरह फिलहाल दयासागर अस्पताल में कोविड वॉर्ड शुरू करने का विचार जारी है. और जैसे-जैसे जरूरत पडेगी, वैसे-वैसे निजी अस्पतालों को अधिग्रहित किया जायेगा. साथ ही जिन अस्पतालों द्वारा अपने आयसीयू वॉर्ड व आयसीयू बेड की जानकारी छिपाकर अधिग्रहण का विरोध किया जायेगा, उनके खिलाफ आवश्यक कारवाई की जायेगी.

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