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क्रुणाल पंड्या के कोरोना मामले में डॉक्टर ने की गड़बड़ी?

जांच में देरी के चलते आठ खिलाड़ी फंसे

नई दिल्ली/दि.13 – श्रीलंका दौरे के दौरान कोविड-19 पॉजिटिव हुए क्रुणाल पंड्या के मामले में नई जानकारी सामने आई है. इसके तहत गले में दर्द महसूस होने के तुरंत बाद क्रुणाल ने इसकी जानकारी बीसीसीआई के चिकित्सा अधिकारी को दी थी लेकिन फिर भी उनकी आरटी-पीसीआर जांच एक दिन बाद हुई. इससे चिकित्सा अधिकारी की सक्रियता पर सवाल उठाए जा रहे हैं. अगर दौरे पर चिकित्सा अधिकारी तुरंत सक्रिय हुए होते तो कोविड-19 जांच में पॉजिटिव पाए गए पंड्या के करीबी संपर्क के आठ खिलाड़ी आइसोलेशन में जाने से बच जाते क्योंकि इसके कारण वे दो टी20 अंतरराष्ट्रीय मैचों में नहीं खेल पाए. भारत को इसके चलते काफी नुकसान उठाना पड़ा. आखिरी दो टी20 में उसके पास केवल पांच ही स्पेशलिस्ट बल्लेबाज बचे थे. उसे गेंदबाजों को शामिल कर प्लेइंग इलेवन पूरी करनी पड़ी.
पता चला है कि क्रुणाल ने गले में दर्द के लक्षण महसूस होने के बाद तुरंत टीम के साथ गए डॉक्टर अभिजीत साल्वी को 26 जुलाई को इसके बारे में बताया. लेकिन उस समय तो रैपिड एंटीजन टेस्ट हुआ और न ही खिलाड़ी को आइसोलेशन में भेजा गया. इसके बजाए गले में दर्द के बावजूद टीम के डॉक्टर ने खिलाड़ी को टीम बैठक में शिरकत करने की मंजूरी दी. 27 जुलाई की सुबह को ही उनका आरटी-पीसीआर टेस्ट किया गया. रिपोर्ट दोपहर में आई. इसके बाद बीसीसीआई और श्रीलंका क्रिकेट ने संयुक्त रूप से मिलकर मैच को एक दिन के लिए स्थगित करने का फैसला किया क्योंकि इस खिलाड़ी के आठ करीबी खिलाड़ियों का भी परीक्षण किया गया था.

शुरू में सभी जांच में नेगेटिव आए. लेकिन श्रीलंका से रवाना होने से पहले कृष्णप्पा गौतम और युजवेंद्र चहल को भी पॉजिटिव पाया गया. शिखर धवन की अगुआई वाली भारत की सफेद गेंद की टीम ने इस दौरे पर तीन वनडे और तीन टी20 अंतरराष्ट्रीय मैच खेले थे. टीम ने वनडे श्रृंखला 2-1 से जीती और टी20 में उसे 1-2 से हार मिली. श्रीलंका में इस घटनाक्रम की जानकारी रखने वाले बीसीसीआई के एक सूत्र ने गोपनीयता की शर्त पर पीटीआई से कहा, ‘क्रुणाल को 26 जुलाई को ही गले में दर्द था और उसने प्रोटोकॉल का पालन करते हुए चिकित्सा अधिकारी को सूचित किया. हैरानी की बात है कि उसका रैपिड एंटीजन टेस्ट (खुद जांच की किट) नहीं हुआ और उसे तुरंत आइसोलेशन में नहीं भेजा गया. हालांकि रैपिड एंटीजन टेस्ट निर्णायक नहीं होता लेकिन यह प्रोटोकॉल का पहला हिस्सा है. लेकिन मैं पुष्टि कर सकता हूं कि क्रुणाल ने गले में दर्द के बावजूद टीम बैठक में शिरकत की. ’
बीसीसीआई सूत्र ने कहा, ‘बल्कि एक सवाल और उठाया जा रहा है कि बीसीसीआई की श्रीलंका में चिकित्सा टीम हर पांचवें दिन जांच पर कैसे सहमत हुई जबकि इंडियन प्रीमियर लीग में जांच प्रत्येक तीसरे दिन कराई गई. लेकिन जय शाह की वजह से सीरीद के रद्द होने का संकट हट गया. उन्होंने हस्तक्षेप किया और सभी करीबी संपर्कों को आइसोलेशन में भेज गया. उनके इस कदम ने सीरीज को बचा लिया और श्रीलंका क्रिकेट बोर्ड की मदद की. लेकिन अगर चिकित्सा टीम अति सतर्क रहती हो इस स्थिति से बचा जा सकता था.’ पीटीआई ने साल्वी से संपर्क करने की कोशिश की तो उन्होंने कहा, ‘मैं कोई टिप्पणी नहीं करूंगा.’

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