संपादकीय

व्यापार के लिए पोषक शिथिलता

राज्य सरकार की ओर से 15 अगस्त से लॉकडाउन के विभिन्न नियमों में शिथिलता दी है. निश्चित रूप से यह शिथिलता व्यापार के लिए पोषक साबित होगी. बीते करीब दो वर्षो से कोरोना संक्रमण के चलते अनेक कडे निर्बंध लागू किए गये थे. जिसके कारण व्यापार प्रभावित हो रहा था. इसी के साथ व्यापारिक क्षेत्र से जुड़े अनेक कर्मचारियों के सामने रोजगार का संकट भी निर्माण हो गया था. 15 अगस्त से निर्बंधों में मिली छूट के चलते अब व्यापारियों में उत्साह नजर आ रहा है. स्पष्ट है कि इससे उपभोक्ताओं को भी राहत मिली है. हालाकि इस छूट को बचाए रखने के लिए सभी व्यापारियों को विशेष सावधानी बरतने के निर्देश भी दिए गये है. जिसमें कोरोना संक्रमण से बचाव के उपायों का कडाई से पालन करना जरूरी किया गया है.
रात 10 बजे तक सभी प्रतिष्ठान खुले रहने की अनुमति दी गई है. लेकिन एक शर्त भी महत्वपूर्ण रखी गई है. मॉल व प्रतिष्ठानों में प्रवेश करते समय टीकाकरण के दोनों डोज का होना आवश्यक है. इसके लिए सभी व्यापारियों को अपना टीकाकरण करवाने का निर्देश दिया है. इसी तरह प्रतिष्ठानों में कार्यरत कर्मचारियों के भी टीके के दोनों डोज होना आवश्यक है. बीते दिनों टीकाकरण की उपलब्धता पर्याप्त न होने के कारण अनेक लोग टीका लेने से वंचित रह गये है. हालाकि बीमारी के संक्रमण को रोकने के लिए टीकाकरण होना जरूरी है. लेकिन जिन लोगों का टीकाकरण नहीं हुआ है उन्हें कठिनाई का सामना करना पड़ सकता है. बीते दिनों अनलॉक प्रक्रिया के तहत सभी प्रतिष्ठान धारको को व उन कर्मचारियों की कोविड-19 जांच आवश्यक की गई थी. इसके लिए महानगरपालिका व संबंधित प्रशासन की ओर से जांच के लिए जगह-जगह शिविर लगाए गये थे. जिससे जांच प्रक्रिया आसान हो गई थी. अब टीकाकरण महत्वपूर्ण है ऐसे में लोगों को समय पर टीका उपलब्ध हो, इसलिए प्रभाग स्तर पर टीकाकरण शिविर का आयोजन किया जाना चाहिए.
इस कार्य में जनप्रतिनिधियों का भी योगदान मिलना चाहिए. जनप्रतिनिधियों को चाहिए कि वे लोगों के हित में टीकाकरण संबंधी शिविरों का आयोजन करे. अनेक लोग आज भी टीकाकरण से वंचित है. इसलिए अनेक स्थानों पर शिविरों के माध्यम से लोगों का टीकाकरण होना चाहिए. इससे व्यापार क्षेत्र के कर्मचारियों व प्रतिष्ठान धारको को कठिनाई क सामना नहीं करना पड़ेगा. आमतौर पर प्रतिष्ठान में कार्यरत कर्मचारियों को योग्य समय टीकाकरण के लिए नहीं मिल पाता. ऐसे में यदि प्रभागस्तर पर या व्यापारी संकुलों के आसपास टीकाकरण शिविर का आयोजन किया जाना चाहिए. इससे अनेक लोग न केवल लाभान्तिव होंगे. साथ ही कोविड-19 नियंत्रण के लिए इन टीको का लाभ होगा.
प्रशासन की ओर से अनेक निर्बधों के कारण भी अनेक लोग टीकाकरण से वंचित है. टीकाकरण सुचारू हो तथा राज्य में हर कोई टीका लगवाने के लिए स्वयं के स्तर पर भी प्रयास करे.
कुल मिलाकर निर्बध शिथिल होने से व्यापार क्षेत्र में गति आयेगी तथा टीकाकरण अधिकाधिक लोगों का होने के कारण संक्रमण का खतरा भी नहीं रहेगा. ऐसे में यह प्रयास आवश्यक है कि जल्द से जल्द सभी नागरिको को किस तरह टीके का पहला डोज उपलब्ध हो तथा इसके बाद निर्धारित अवधि में दूसरा डोज भी देने की व्यवस्था की जानी चाहिए. इससे जो लोग टीकाकरण से वंचित रह गये है. उन्हें भी सुविधाजनक तरीके से टीका उपलब्ध हो पायेगा तथा वे अपने कार्यक्षेत्र में योगदान दे सकेंगे. हालाकि इस बार नई नियमावली जो 15 अगस्त को जारी की गई है. उसे देखते हुए टीकाकरण के लिए भी नागरिको को योग्य समय दिया जाना चाहिए. ऐसा करने से लोगों को भी राहत मिलेगी व टीकाकरण केन्द्रों पर जो अनावश्यक भीड जमा हो जाती है उससे भी राहत प्राप्त होगी. जरूरी है कि निर्बंधों की शिथिलता का उद्देश्य सार्थक हो, इसलिए टीकाकरण अभियान को व्यापक रूप देना आवश्यक है. साथ ही जिले में शत प्रतिशत टीकाकरण किया जाए,ऐसे प्रयास होना चाहिए.

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